छह साल के मासूम दिव्य के अपहरण मामले में पुलिस कोई सुराग नहीं लगा सकी।
इस बीच अपहर्ताओं को संदेश देती है कि मेरे बच्चे को जहां भी रखना, सही से रखना। मेरा बेटा नाजुक है।
बच्चे के अपहरण के बाद से मां ही नहीं पूरे परिवार का बुरा हाल है। दिव्य के बाबा लव वाष्र्णेय, दादी निशा, पिता प्रतीक और मां निशा समेत पूरा परिवार रात भर लॉबी में बैठकर बच्चे की खबर आने का इंतजार करते रहे।
अब दिव्य के परिवार वालों ने पुलिस से कन्नी काटना शुरू कर दिया है। अब उसकी तलाश को निजी स्तर पर प्रयास तेज कर दिए हैं।
परिजनों ने व्हाट्स एप और सोशल मीडिया का भी सहारा लिया है। इसमें दिव्य के बारे में कोई भी जानकारी देने की अपील की है।
मासूम के अपहरण के बाद से गम में डूबा परिवार फोन की घंटी बजते ही दौड़ पड़ता है कि शायद दिव्य की खबर आई है। आने वाले हर कॉल को एक बार में ही उठाया जा रहा है। फिलहाल बच्चे के संबंध में कोई फोन नहीं आया है।
कमला नगर से अपहृत अभिषेक के परिजन पंकज अग्रवाल भी सोमवार को दिव्य के परिजनों से मिले। अभिषेक का भी पांच जनवरी को अपहरण हो गया था, आज तक वह बेसुराग है। छात्र के परिजनों ने दिव्य के सकुशल लौटने का भरोसा परिवार को दिलाया।
ईदुल अमीन डेस्क: उत्तर प्रदेश के कन्नौज रेलवे स्टेशन के पास शनिवार को निर्माणाधीन इमारत…
मो0 कुमेल डेस्क: केरल के पथानामथिट्टा ज़िले में एक 18 साल की दलित-एथलीट युवती द्वारा…
तारिक खान डेस्क: नगीना से सांसद चंद्रशेखर आज़ाद ने कुम्भ मेले को लेकर सरकार पर…
आफताब फारुकी डेस्क: असम के दीमा हसाओ ज़िले की एक खदान में फंसे मज़दूरों को…
सबा अंसारी डेस्क: इंडिया गठबंधन के घटक दल शिवसेना (उद्धव गुट) के नेता संजय राउत…
तारिक खान डेस्क: खनौरी और शंभू बॉर्डर पर धरने पर बैठे किसानों का सब्र का…