मो आफताब फ़ारूक़ी
इलाहाबाद। शहर के शिवकुटी थाने के समीप पूरेगड़ेरिया मोहल्ले में शनिवर की रात हुई पांच लोगों की हत्या का खुलासा करते हुए पुलिस ने महेज ढाई घंटे के अन्दर दो आरोपियों को गिरफ्तार किया। उक्त मामले का खुलासा करते हुए आईजी डाॅ. के.एस.प्रताप एवं एसएसपी जोगेन्द्र सिंह ने बताया कि हत्या की वजह पैत्रिक सम्पत्ति का विवाद है। पुलिस व समाज को गुमहराह करने के लिए समेटा लाखों का जेवरात और रूपया।
उन्होंने बताया कि हत्या के आरोपियों में मृतक सपेरा मोहर्रम 45वर्ष पुत्र स्वर्गीय भग्गू का सबसे छोटा भाई राजन है। मोहर्रम सबसे बड़ा था। वह और उसका बेटा दोनों पैर से विकलांग थे और जिससे उसके पिता भग्गू ने पैत्रिक सम्पत्ति का एक हिस्सा चैफका में है। जो मोहर्रम के अकेले नाम कर दिया था। यह नाराजगी सबसे छोटे भाई राजन को चुभ रही थी। जिसे लेकर दोनो भाइयों में अनबन चल रही थी। हत्या की सूचना मिलते ही शिवकुटी थानाध्यक्ष मौके पर पहुंचे और तत्काल सभी अधिकारियों को बताया। पुलिस अधीक्षक रमाकान्त सहित सभी अधिकारी मौके पर पहुंचे और मामले की पूंछताछ करने लगे और लगभग ढाई घंटे में पूरे मामले का खुलासा हो गया। हत्या में शामिल दूसरा आरोपी सूरज पुत्र हैदर सपेरा चचेरा भाई है।
वारदात में घायल महिला के बयान से आरोपियों के नाम पुलिस को मिलते ही पूरा मामला तत्काल खुल गया। सुराग मिलते ही घटना को अंजाम देकर भाग रहे आरोपियों को इंटेलीजेंस विंग टीम के प्रभारी जय प्रकाश राय, उपनिरीक्षक नागेश सिंह थानाध्यक्ष अरविन्द त्रिवेदी, उपनिरीक्षक विजय विक्रम चैकी प्रभारी नारायण आश्रम ने मुखबिर की सूचना पर पिलोडर गाड़ी सहित तेलियरगंज चुंगी के पास से गिरफ्तार किया। पुलिस टीम ने आरोपियें के कब्जे हत्या में प्रयुक्त चापड़, राड, खून से सने हुए कपड़े एवं वारदात को लूट की घटना में तब्दील करने के लिए समेटे गये सोने-चांदी के जवरात एवं रूपये लगभग पांच लाख की सम्पत्ति बरामद की गई है। इस सम्बन्ध में मृतक के चचेरे भाई शौरभ पुत्र गुलाब मदारी की तहरीर पर हत्या का मुकदमा दर्ज करके आरोपियों को जेल भेजा जा रहा है।
गुमराह करने के लिए लूटा था जेवरात
आईजी ने बताया कि सनसनी खेज वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपियों ने पूरे मामले को गुमराह करने के लिए राजन ने अपनी पत्नी, मृतक की पत्नी एवं बेटी की शादी के लिए बनवाये गये जेवरात एवं रूपया लेकर बरामद गाड़ी में रखा हुआ है। पुलिस थोड़ी से चूक करती तो वारदात को खुलने में काफी समय लग सकता था।