संजय ठाकुर
बलिया :प्रदेश सरकार ने सर्वशिक्षा अभियान में कोई कोर कसर नहीं छोड़ रखा है। प्रदेश के हर बच्चे को शिक्षा मिल सके उसके लिए प्रदेश सरकार ने स्कूल परिधान से लेकर कॉपी किताब और दोपहर का खाना तक मुफ्त बच्चों को उपलब्ध करवाने की पूरी व्यवस्था कर रखी है, इसके बावजूद भी शिक्षा का स्तर निम्न से निम्नतम होता जा रहा है। जबकि शिक्षा कार्यो में लगे शिक्षक शिक्षिकाओं को प्रदेश सरकार इतना वेतन देती है जिसमे किसी प्राइवेट स्कूल के दो से तीन शिक्षक का वेतन हो जाय।
प्रदेश में सरकारी शिक्षा का स्तर इतना नीचे होने का मुख्य कारण है शिक्षकों की लापरवाही। यह लापरवाही ही है कि स्कूल यदा कदा खुलना, समय से बहुत पुर्व ही स्कूल बंद हो जाना। मौजूदा फोटो बलिया जनपद के सियर ब्लाक के सेमरी पाठशाला का है। सुबह 12 बजे ही यह विद्यालय बंद हो चूका था। हमने जब इस संबंध में सम्बंधित प्रधानाचार्य से बात करनेे का प्रयास किया तो उनके द्वारा बताया गया कि आज कुछ आवश्यक कार्यो हेतु मुझको कही जाना था इसी कारण आज विद्यालय जल्द बंद हो गया।
उपरोक्त सम्बन्ध में जब हमने बेसिक शिक्षा अधिकारी राकेश सिंह से संपर्क करने का प्रयास किया तो पुरानी आदतों के तरह उनका फ़ोन नहीं उठा। वैसे भी सीयूजी नंबर न उठाना, पर्सनल नंबर पर केवल पहचान का नंबर ही उठाना साहेब की पुरानी आदतों में शुमार है।
जो भी हो प्रदेश के मुखिया की शिक्षा के लिए किये गए समस्त प्रयासों को पलीता आज शिक्षा विभाग लगाने पर तुला हुआ है। बेसिक शिक्षा अधिकारी बलिया का इस प्रकरण में क्या नजरिया होता है यह आने वाला कल ही बताएगा हम तो सिर्फ इतना कह सकते है कि *साहेब अगर ऐसे पढ़ेगा इण्डिया तो कइसे बढ़ेगा इंडिया*