आफताब फारुकी
इलाहाबाद। करछना थानान्तर्गत भरहा गांव के समीप विगत दिनों रेलवे लाइन के समीप मिले युवक के शव की सोमवार की शाम शिनाख्त एक दुकानदार के रूप में कर ली गयी। वह घर से एक नवम्बर को निकला था। सबसे गौरतलब बात यह है कि एक बार फिर पुलिसिया लापरवाही की पोल खुली। पंचनामा भरने वाले दरोगा ने यदि सही तरीके से मृतक के कपड़ो की तलासी ली होती तो शायद घटना के ही दिन उसकी पहचान हो जाती।
पोस्टमार्टम कर्मचारियों की सक्रियता से हुई दुकानदार की पहचान
करछना थाने की पुलिस लावारिश में ही सोमवार को उसके शव का अन्त्य परीक्षण कराने जा रही थी। लेकिन पोस्टमार्टम में तैनात कर्मचारियों ने मृतक के पैंट की जेब से मिली एक पर्ची के मोबाइल नम्बर को लगाया तो सबसे पहले मृतक की पत्नी निशा तिवारी ने उठाया। उसके बाद मृतक के भाई कप्तान तिवारी से बात हुई तो उसने मृतक का नाम राजेश तिवारी 32वर्ष पुत्र शियाराम तिवारी निवासी भड़ेवरा थाना करछना बताया और कहा कि वह दो नवम्बर से गायब है। इस सूचना पर परिवार के लोग सोमवार देरशाम पहुंचे और उसकी शिनाख्त कपड़ो एवं फोटो ग्राफ से छोटे भाई सूबेदार तिवारी ने बताया।
घटना के सम्बन्ध में जानकारी देते हुए परिजनों ने बताया कि वह एक नवम्बर को घर से बुआ रमराजी निवासी डाढ़ो थाना उपरोक्त के घर बाइक लेकर गया था। जहां से बुआ के नाती से बाइक घर भेज दिया और दो नवम्बर की सुबह दो सौ रूपये लिया और कहा घर चलों मैं आ रहा हॅू। लेकिन इसके बाद उसकी कोई पता नहीं चल पाया। परिवर के लोग उसे खोजते रहे और रविवार को करछना थाने में गुमशुदगी का मुकदमा भी दर्ज कराया। लेकिन पुलिस ने उस समय भी लावारिश मिलने की जिकर नहीं किया। यदि पोस्टमार्टम के कर्मचारियों ने फोन न मिलाया होता तो भाई का दीदार नहीं हो सकता था। मृतक चार भाई एक बहन में दूसरे नम्बर का था। उसके दो बेटिया है और वह चायपान की दुकान के सहारे जीवन यापन करता था। करछना थाने की पुलिस अबतक इसे ट्रेन से गिरकर मौत बता रही थी। जबकि सोमवार को हुए अन्त्य परीक्षण में जो उसके शरीर में चोटे मिले ही, उससे पूरा मामला संदिग्ध नजर आ रहा है। उल्लेखनीय है कि करछना थाने की पुलिस को रेलवे के ट्राली मैन दयाराम पटेल निवासी बसरिया थाना करछना ने 3 नवम्बर की शाम एक युवक का शव रेलवे लाइन से कुछ दूर पड़े होने की सूचना दी थी। पुलिस ने शव का पंचनामा करके 4 नवम्बर को पुलिस लाइंन में आमद कराया। जिसका पीएम संख्या 2394/16 और जीडी46 समय 13.50 पर किया गया। पुलिस अन्त्य परीक्षण होने तक लावारिश मुस्लिम बता रही थी। जबकि अन्त्य परीक्षण में वह हिन्दू निकला।