करिश्मा अग्रवाल
रूस और चीन ने अमरीका सहित पश्चिमी देशों की ओर से राष्ट्र संघ में पारित सीरिया के खिलाफ़ प्रतिबंधों के प्रस्तावों को विफल बना दिया है। प्राप्त समाचारों के अनुसार बुधवार को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में अमरीका, फ्रांस और ब्रिटेन ने सीरिया के ख़िलाफ़ प्रतिबंध लगाने के लिए एक प्रस्ताव पेश किया था जिसे चीन और रूस ने वीटो कर दिया। उल्लेखनीय है कि रूस ने पहले ही इस बात की घोषणा कर दी थी कि सुरक्षा परिषद में सीरिया के ख़िलाफ़ पेश होने वाला प्रस्ताव ग़ैर रचनात्मक है और इससे सीरिया शांति वार्ता प्रक्रिया पर विनाशकारी प्रभाव पड़ेगा।
सुरक्षा परिषद में सीरिया के ख़िलाफ़ प्रस्ताव पर होने वाले मतदान में सुरक्षा परिषद के स्थायी और ग़ैर स्थायी सदस्यों में से 9 सदस्यों ने प्रस्ताव के पक्ष में जबकि बोलीविया ने विरोध में मतदान किया। मिस्र, कज़ाकिस्तान और इथियोपिया ने मतदान में हिस्सा नहीं लिया। संयुक्त राष्ट्र में रूस के स्थायी प्रतिनिधि व्लादिमीर सफरोनकोफ़ ने अमरीका, ब्रिटेन और फ्रांस की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि यह तीनों देश सीरिया संकट और युद्ध अधिक भड़काने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि सीरिया की शांति के दुश्मन विशेष रूप से अमरीका, ब्रिटेन और फ्रांस ने जानबूझ कर यह प्रस्ताव सुरक्षा परिषद में पेश किया था इसलिए उसको वीटो करना हमारे लिए ज़रूरी था।