करिश्मा अग्रवाल
नाइजीरियाई सुरक्षा बलों ने प्रदर्शनकारियों को तितर- बितर करने के लिए आंसू गैस के गोलों का प्रयोग किया। नाइजीरियाई अधिकारियों द्वारा इस देश के इस्लामी आंदोलन के नेता इब्राहीम शैख ज़कज़की को रिहा न करने से एक बार फिर इस देश के मुसलमानों ने उनकी आज़ादी के लिए प्रदर्शन किया है।
नाइजीरियाई मुसलमानों ने कादूना के अलावा कात्सीना, बूची,गम्ब और मीना सहित कई नगरों में प्रदर्शन किया।नाइजीरियाई मुसलमानों के शांतिपूर्ण प्रदर्शनों पर इस देश के सुरक्षा बलों ने युद्ध में प्रयोग होने गोलों को फायर किया जिससे इन प्रदर्शनों ने हिंसक रूप धारण कर लिया।
इसी प्रकार नाइजीरियाई सुरक्षा बलों ने प्रदर्शनकारियों को तितर- बितर करने के लिए आंसू गैस के गोलों का प्रयोग किया। नाइजीरिया के इस्लामी आंदोलन के अधिकारियों ने कादूना में पुलिस की ओर से बल प्रयोग को अस्वीकार बताया और कहा कि पुलिस ने इस आंदोलन के सदस्यों पर हमला करने के लिए अपराधियों और असामाजिक तत्वों का सहारा लिया है। नाइजीरिया के धार्मिक नेता की स्वतंत्रता के लिए इससे पहले कई बार प्रदर्शन हो चुके हैं और इन प्रदर्शनों में सुरक्षा बलों ने बल का प्रयोग किया जिससे उसने हिंसक रूप धारण कर लिया।
नाइजीरिया की सेना ने वर्ष 2015 में कादूना प्रांत के ज़ारिया नगर के एक इमाम बाड़े पर हमला करके शैख इब्राहीम ज़कज़की को उनकी पत्नी के साथ गिरफ्तार कर लिया था। उस हमले में शेख ज़कज़की के बेटों सहित काफी अधिक संख्या में शीया मुसलमान शहीद हो गये थे। उस समय से लेकर अब तक शैख ज़कज़की और उनकी पत्नी जेल में बंद हैं। यद्यपि इस देश की सर्वोच्च अदालत शैख इब्राहीम ज़कज़की को निर्दोष घोषित और उनकी रिहाई का आदेश दे चुकी है परंतु इस बात को महीनों का समय बीत जाने के बावजूद वह और उनकी पत्नी अब तक जेल में बंद हैं।