(जावेद अंसारी)
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में एक ऐसे सज्जन है जो लालू यादव का कट्टर समर्थक हैं और उनकी पार्टी का प्रचार प्रसार करने मैं कोई कसर नहीं छोड़ते। लालू प्रसाद यादव और उनकी पार्टी की कोई बुराई करता है तो वही इनकी बानगी देखने को मिलती है, वो भी कहां अपने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र बनारस में, और जमकर कर गरजते हैं विरोधियों पर. तो आइए हम आपको बताते है कि वो सज्जन कौन है। नाम मोर मुकट बासुदेव गुप्ता, मूलनिवासी लढूपुर सारनाथ वाराणसी,कार्यक्षेत्र वाराणसी का जिला मुख्यालय।कार्य निष्पक्ष भाव से बिना किसी लालच के लालू यादव के और उनकी पार्टी का प्रचार करना।
वाराणसी जिला मुख्यालय पर आने वाला कोई भी शख्स ऐसा नहीं होगा जिसकी नजर इस बासुदेव पर ना पड़े सर पर मोर मुकुट जिस पर लालटेन लगी है सीने पर लालू यादव का बिल्ला चमकता हुआ गले में जय दादी का पट्टा डाले हुए वासुदेव निष्पक्ष भाव से विगत लगभग एक दशक से लालू यादव और उनकी पार्टी का प्रचार करते हैं आने जाने वाले हर व्यक्ति से सम्मान पूर्वक मिलते हैं उनके निष्ठा पार्टी के लिए इतनी है कि कोई भी इनके सामने लालू यादव अथवा उनकी पार्टी की बुराई कर के नहीं निकल सकता है।
लालू यादव के लिए किस निष्पक्ष और बिना लालच कि बिना किसी नफे-नुकसान के भक्ति का एक कारण वासुदेव बताते हैं कि विगत लगभग 10 वर्ष पहले उनकी एक भेट लालू यादव और राबड़ी देवी से हुई थी। पिछड़ी जाति से संबंध रखने वाले वासुदेव को एक ऐसे सरपरस्त की तलाश थी जो पिछली जाति की लड़ाई लड़ सके, इस दौरान सम्मान पूर्वक वासुदेव ने राबड़ी देवी का मंच पर जाकर पैर छुआ और आशीर्वाद मांगा। जिस पर राबड़ी देवी ने वासुदेव के सर पर हाथ रख कर कहा कि कि तुम हमारे पुत्र के समान हो यह बात बासुदेव के दिल में कुछ इस कदर घर कर देगी एक दशक होने को आ रहा है। आज भी बासुदेव प्रतिदिन सफेद लिबास में सफेद जूता पहनकर सर पर मोर मुकुट लगाकर और उस पर लालटेन लटकाकर सीने पर लालू यादव का बिल्ला लगाकर सुबह 10:00 बजे तक जिला मुख्यालय पहुंच जाते हैं और देर शाम तक जिला मुख्यालय में आने जाने वाले सभी लोगों के आसपास घूमते फिरते हैं, और उनको नमस्कार करते हैं जिला मुख्यालय के लगभग सभी पत्रकार वासुदेव को भली भांति जानते हैं और बासुदेव भी सभी पत्रकारों के सम्मान में पहुंचतेे हैं और आशीर्वाद लेते हैं।बासुदेव गुप्ता को एक बार और लालू यादव से मिलने की तमन्ना है वह कहते हैं कि एक बार लालू यादव के साक्षात दर्शन और हो जाए उसके बाद भले ही हमारे प्राण चले जाएं हम को कोई फिक्र नहीं है।
अब देखना होगा कि अपने इस अनोखे चाहने वाले के ऊपर लालू यादव के अथवा राबड़ी देवी की दृष्टि कब पड़ती है इसको एक विचित्र विडंबना ही कहेंगे कि सिर्फ एक बार चंद मिनटों की भेट में किसी को कोई अपना सब कुछ मांन बैठा है जिले में लालू यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल के कई पदाधिकारी है मगर कोई भी बासुदेव गुप्ता की निष्ठा को नहीं देखता है।