कनिष्क गुप्ता
इलाहाबाद : सोरांव थानाक्षेत्र में शीला और उसके मासूम बेटे हिमांशु की हत्या में शांति और दूधिया रामनाथ को भी गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस का दावा है कि शांति ने शीला के कत्ल की साजिश रची थी और फिर प्रेमी हवलदार व रामनाथ ने मां-बेटे की गला दबाकर हत्या की। हवलदार को पहले ही पकड़ लिया गया था।
मंगलवार शाम पुलिस लाइन सभागार में अभियुक्तों को मीडिया के सामने पेश किया गया। यहां एसएसपी आकाश कुलहरि, एसपी गंगापार सुनील सिंह व सीओ सोरांव जितेंद्र गिरि ने दोहरे हत्याकांड का पर्दाफाश किया। बताया कि सकरामऊ की शांति देवी पत्नी राम सेवक की आम शोहरत ठीक नहीं थी। उसके कई लोगों से संपर्क था। करीब पांच साल पहले उसने ही शीला को हवलदार से मिलाया था। इसके बाद शीला व हवलदार दो बार घर से भागे थे। एक बार पुलिस तक जानकारी पहुंची तो पंचायत के सामने हवलदार ने शीला के पति सुभाष को 20 हजार रुपये बतौर जुर्माना दिया था। करीब दो माह पहले शीला व शांति के बीच एक मामले को लेकर विवाद हुआ तो मामला बिगड़ गया। इसी बीच शीला का प्रेमी हवलदार भी अपने गांव आ गया। तब उसे शांति के जरिए पता चला कि शीला का कुछ अन्य लोगों से दोस्ती हो गई है। बेवफाई से परेशान हवलदार ने शांति देवी के घर पर रामनाथ के साथ कत्ल की योजना बनाई और 31 मार्च की शाम उसे गुजरात ले जाने की बात कही। इसी बीच शीला किसी और से मिलने के लिए सज संवरकर घर से निकली। रास्ते में हवलदार और रामनाथ मिल गए, जहां उनके बीच झगड़ा हुआ तो शीला के साथ ही मासूम बेटे की हत्या कर दी। इसके बाद लाश को गेहूं के खेत में फेंक दिया था। पुलिस को सीडीआर से यह भी पता चला कि घटना वाले दिन हवलदार और शीला के बीच 18 बार और रामनाथ व शांति के बीच 70 बार मोबाइल पर बात हुई थी।
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