अनिल कुमार
पटना. राजधानी पटना में इन दिनों एक सेक्स रैकेट ने सियासी भूचाल ला दिया है। आरा की 12 साल की एक लड़की से जबरन देह व्यापार कराने के मामले में सनसनीखेज खुलासा हुआ है। नाबालिग लड़की पिछले दिनों से जिस नेता के बारे में आरोप लगाते हुवे जानकारी दी थी, वह नेता राजद के विधायक अरुण यादव हैं।
इस सेक्स रैकेट की मुख्य सरगना तक भी पुलिस की पकड़ हो चुकी है, जो आरा जिले की मनियच गांव की रहने वाली एक तलाकशुदा औरत है। इसने ही इस नाबालिग लड़की को उसके घर से पढ़ाने के नाम पर जबरदस्ती देह व्यापार के धंधे में शामिल कर दिया। संचालिका ने ही पुलिस को दिए बयान में यह बताया है कि पटना मे सचिवालय के पास सरकारी बंगला नंबर -28 में वह इस नाबालिग लड़की को ले जाती थी और वहां पर नाबालिग लड़की के अस्मत लूटने के एवज में 6000 रूपया मिलते थे।
संचालिका ने कबुल किया है कि वह खुद ही इस नाबालिग लड़की को लेकर होटलों में भी जाया करती थी। इस नाबालिग लड़की के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाने वालों में एक आरा के पकड़ी रोड इलाके में रहने वाले इंजीनियर का भी नाम सामने आया है। सेक्स रैकेट की मुख्य सरगना ने पुलिस के सामने यह सब कबूल किया है कि पिछले एक माह से इस नाबालिग लड़की से देह व्यापार कराने के सिलसिले में कई वीआईपी लोगों के यहां भी भेजी है।
उसने बताया है कि उसकी शादी वर्ष 2003 में हुई और दस सालों के बाद पति से तलाक लेकर एक लड़के के साथ दिल्ली चली गई और वहां से कुछ दिनों के बाद पटना लौटने पर उसकी मुलाकात उसके जीजा संजय पासवान उर्फ़ पंडित से हुआ। असल में पंडित ही पहले से पटना में सेक्स रैकेट चला रहा था। जीजा साली की जोड़ी ने आरा से नाबालिग लड़कियों को पटना लाना शुरू कर दिया। आरा से पटना लड़कियों को भेजने में आरा की ही रहने वाली लाली नाम की एक लड़की भी इस गिरोह में शामिल है जो ग्रामीण क्षेत्रों से लड़कियों को बहला फुसलाकर राजधानी पटना में भेजती है।
राजद विधायक अरुण यादव का संबंध आरा जिले से ही हैं और इनके ही आवास पर संचालिका रहती थी। लेकिन राजद विधायक अरुण यादव इस मामले में फंसते देख इन लोगों को पहचानने से भी इंकार कर रहे हैं। विधायक का कहना है कि हम ज्यादा समय अपने क्षेत्र में ही रहते हैं, इस कारण पटना में अपने सरकारी बंगला पर नहीं रहते हैं।
विधायक अरुण यादव का नाबालिग लड़की के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाए जाने की घटना राष्ट्रीय जनता दल के लिए बहुत बड़ा धक्का है। क्योंकि कुछ ही वर्षों पहले नवादा के पूर्व विधायक राजवल्लभ यादव भी नाबालिग लड़की के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाने के मामले में पकडे गए थे और अभी जेल में हैं। सजा मिलने के बाद राजवल्लभ यादव के विधायक की सदस्यता भी छीन ली गई। राजवल्लभ यादव राजद सुप्रीमो के खासमखास माने जाते थे। वही हाल विधायक अरुण यादव का भी है,ये भी लालू परिवार के नजदीकी माने जाते हैं।
पीड़ित नाबालिग लड़की 18 जुलाई को संचालिका के चंगुल से भाग कर अपने घर आरा चली आई और अपने घर वालों से अपनी आपबीती सुनाई, जिसके बाद पीड़ित लड़की के परिवार वाले ने पुलिस के समक्ष सारी बातें बताई जिसके फलस्वरूप अनीता देवी को पुलिस ने धर दबोचा। अभी तक पुलिस पीड़िता के बयान लेने के बाबजूद विधायक अरुण यादव से कोई पूछताछ नहीं किया है।
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