गौरव जैन
रामपुर – फैसल खान लाला ने जारी बयान में कहा कि कुछ लोग अफ़वाह उड़ा रहे हैं कि प्रशासन इस बार क़ुर्बानी नही करने देगा, ऐसा बिल्कुल नही है हमने प्रशासन से बात की है प्रशासन ने भरोसा दिलाया है कि लोग बेख़ौफ़ होकर क़ुर्बानी करें बस कोई नई परंपरा न डालें और प्रतिबंधित पशु की क़ुर्बानी न करें साथ ही खुले स्थान पर क़ुर्बानी न करें। जोकि इस्लामिक हिसाब से भी बिल्कुल सही है ऐसे में हम उलमाओं से भी मांग करते हैं कि वह बाक़ायदा मस्जिदों में इस बात को वज़ाहत के साथ लोगों को समझाएं कि प्रतिबंधित पशु की क़ुर्बानी करना जायज़ नही है इसलिए प्रतिबंधित पशु की क़ुर्बानी न करें, खुले स्थान पर क़ुर्बानी न करें और साफ सफ़ाई का भी ध्यान रखें।
क़ुर्बानी हज़रत इब्राहीम अलैहिस्सलाम की सुनन्त है अल्लाह सिर्फ़ क़ुर्बानी करने वाले की नीयत देखता है उसको किसी जानवर के गोश्त की ज़रूरत नही लिहाज़ा क़ुर्बानी का गोश्त सबसे पहले गरीबों में तक़सीम करें ताकि तमाम आलम-ए-इस्लाम के लोग ईद की खुशियों में शरीक हो सके।
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