तारिक खान
प्रयागराज: अपराधियों के चारागाह जैसे तब्दील होता जा रहा प्रयागराज और बेख़ौफ़ अपराधियों की काली करतूत का एक बार फिर गवाह बहा है। प्रयागराज के बहुचर्चित बसपा विधायक राजू पाल हत्याकांड के मुख्य गवाह उमेश पाल की उसके घर के निकट ही हत्या कर दिया है। आज शुक्रवार को हुवे इस हमले में दोनों गनर भी गम्भीर रूप से घायल हुवे है। बताया जा रहा है कि हमलावर बाइक से आये थे, घटना के दरमियान उन्होंने ताबड़तोड़ गोलियां चलाया और बम भी चलाया।
गोलियों और बमों की आवाज़ से घटना स्थल के आसपास में लोग थर्रा गए। लोग घरो और गलियों में दुबक गये। बताया जा रहा है कि यह घटना तब हुई जब वह अपने गनर के साथ क्रेटा कार में जा रहे थे। जैसे ही कार जयंतीपुर से सुलेम सराय में जीटी रोड पर आ ही रही थी तभी उसी वक्त बाइक से आए शूटरों ने ताबड़तोड़ फायर किया। बताते चले कि उमेश पाल जो राजू पाल हत्याकांड में मुख्य गवाह थे वह इलाहाबाद हाई कोर्ट के अधिवता भी थे। हमलावर कौन थे इसकी शिनाख्त अभी तक नही हुई है।
घटना के बाद बुरी तरह घायल हुवे तीनों को स्वरूप रानी नेहरू चिकित्सालय में भर्ती कराया गया। जहा इलाज के दौरान गवाह उमेश पाल और उनके गनर संदीप मिश्रा तथा गनर राघवेंद्र सिंह का इलाज चल रहा है। उसकी हालत भी गंभीर है। परिवार वालों का आरोप है कि बाहुबली अतीक अहमद के इशारे पर यह हमला हुआ है। हमले के बाद मौके पर पुलिस के आला अधिकारी पहुंचे और आसपास लगे सीसीटीवी खंगाले जा रहे हैं, जिसके आधार पर पुलिस यह पहचानने की कोशिश कर रही है कि यह हमलावर कौन थे? इसकी पहचान की जा सके।
घटना में घायल उमेश पाल के परिवार के मुताबिक इस हमले के दो आरोपी हैं। घटना प्रयागराज के धूमनगंज इलाके के जयंतीपुर की है। ऐसा कहा जा रहा है कि कोर्ट से वापस आने के बाद अपने घर के पास जैसे ही उमेश पाल पहुंचे, वैसे ही बदमाशों ने पहले तो उसकी कार पर गोलियों से हमला कर दिया। फिर जब वह कार से निकल कर अपने घर की ओर भागा तो पीछे-पीछे उसके बम से भी हमला किया। इसमें उमेश पाल सहित सुरक्षा में लगे 2 लोग घायल हैं।
बताते चले कि प्रयागराज में 25 जनवरी 2005 को बीच सड़क पर बीएसपी के पूर्व विधायक राजू पाल की हत्या कर दी गई थी। उसी हत्या के मुख्य गवाह उमेश पाल पर आज जानलेवा हमला हुआ है। इस हमले में उमेश पाल को गोली और बम लगे हैं। उल्लेखनीय है कि यूपी में साल 2004 के आम चुनाव में फूलपुर से सपा के टिकट पर अतीक अहमद को सांसद चुना गया था। इसके बाद इलाहाबाद पश्चिम विधानसभा सीट खाली हो गई थी। इस सीट पर हुए उपचुनाव में सपा ने अतीक के छोटे भाई अशरफ को टिकट दिया था। लेकिन बसपा ने उसके सामने राजू पाल को खड़ा किया। उस उपचुनाव में बसपा प्रत्याशी राजू पाल ने अतीक अहमद के भाई अशरफ को हरा दिया था।
राजू पाल हत्याकांड में गवाह बनते ही अतीक गिरोह उमेश पाल को दुश्मन की नजर से देखने लगा। उन पर कई बार हमले की कोशिश हुई, लेकिन वे बच निकले थे। 28 फरवरी 2008 को उमेश का अपहरण कर लिया गया था। उनके साथ मारपीट की गई। धमकी दी गई, गवाही दी तो मार दिया जाएगा।
तारिक आज़मी डेस्क: बिहार के मोकामा के पूर्व विधायक अनंत सिंह पर बुधवार को फायरिंग…
शफी उस्मानी डेस्क: सुप्रीम कोर्ट की दो जजों की बेंच ने बुधवार (22 जनवरी) को…
तारिक खान डेस्क: सुप्रीम कोर्ट ने कल बुधवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट के उस आदेश पर…
अनिल कुमार डेस्क: मोकामा के पूर्व बाहुबली विधायक अनंत सिंह और सोनू-मोनू गिरोह के बीच…
ईदुल अमीन डेस्क: बॉम्बे हाई कोर्ट ने एक मामले की सुनवाई करते हुए ईडी को…
ईदुल अमीन डेस्क: महाराष्ट्र में एक बड़ी रेल दुर्घटना सिर्फ महज़ एक अफवाह के कारण…