आफताब फारुकी/शफी उस्मानी
डेस्क: 2 माह से जल रहे मणिपुर में हिंसा का दौर रुकने का नाम ही नही ले रहा है। मिल रही जानकारी के अनुसार रोज़मर्रा लोगो के मौत की खबरे आ रही है। हजारो लोग अपने घर छोड़ कर जा चुके है। मणिपुर में इस जातीय हिंसा को भड़के दो महीने से ज्यादा समय बीत चुका है और इस हिंसा में अब तक 140 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है। जबकि तीन हजार से से अधिक लोग घायल हुए है।
बताते चले कि मणिपुर के मैतेई बहुल बिष्णुपुर और कुकी जनजाति बहुल चुराचांदपुर ज़िलों में लगातार जारी हिंसा में आए दिन लोगों की जान जा रही है। ताज़ा मिली जानकारी के अन्सुआर शुक्रवार को हुई गोलीबारी की घटना में मणिपुर पुलिस के एक कमांडो और एक स्कूली छात्र समेत कम से कम चार लोगों की मौत हो गई। विष्णुपुर ज़िले के एक पुलिस अधिकारी ने मीडिया को बताया है कि इलाक़े में पिछले कई दिनों से संदिग्ध चरमपंथी लगातार गोलीबारी कर रहे हैं। इस अशांत ज़िले के कई जगहों पर शुक्रवार को भी दिन भर गोलीबारी जारी रही।
इस गोलीबारी में पुलिस कमांडो पुखरामबाम रणबीर को गोली लग गई जिनकी अस्पताल ले जाते समय मौत हो गई। जबकि चुराचांदपुर ज़िले के कांगवई में हुई एक गोलीबारी की घटना में दो लोगों की मौत हो गई और तीन लोग घायल हुए है। मणिपुर में 3 मई से शुरू हुई हिंसा के बाद से कांगवई इलाक़ा एक संवेदनशील क्षेत्र रहा है। राजधानी इंफाल से महज़ 30 किलोमीटर दूर बिष्णुपुर ज़िले के फौगाकचाओ इखाई पुलिस स्टेशन के क्वाक्टा में शुक्रवार को संदिग्ध चरमपंथियों द्वारा किए गए हमले में एक स्कूली छात्र की भी मौत हो गई। 17 साल के छात्र मायांगलमबम रिकी ने इस साल बारहवीं कक्षा पास की थी।
इस घटना के बाद गुस्साए स्थानीय लोगों ने हाथों में प्ले कार्ड लिए मोइरांग मल्टीपर्पज हायर सेकेंडरी स्कूल के सामने विरोध प्रदर्शन किया। इन लोगों की तख्तियों पर लिखा था, ‘छात्रों को मारना बंद करो, हम शांति चाहते हैं।’ वही मणिपुर पुलिस का दावा है कि पुलिस और केंद्रीय सुरक्षा बलों की संयुक्त टीम ने शुक्रवार को इंफाल पूर्व, इंफाल पश्चिम, चुराचांदपुर, बिष्णुपुर और काकचिंग ज़िलों में 18 बंकरों को नष्ट कर दिया है। जबकि पिछले 24 घंटों में सुरक्षाबलों ने इंफाल पूर्व ज़िले से पांच हथियार, 74 गोला-बारूद, पांच एचई हैंड ग्रेनेड भी बरामद किए हैं।
समूचा विपक्ष मणिपुर में शांति बहाली हेतु अपील कर रहा है। बताते चले कि मणिपुर में हिंसा कुकी और मैतेई समूहों के बीच हो रही है। इस दरमियान रोज़ ही आगजनी की घटनाए प्रकाश में आ रही है। कई विधायको और मत्रियो के संपत्तियों पर हमले हुवे है। कई मंत्रियो की संपत्तियों को चरमपंथियों के द्वारा आग के हवाले कर दिया गया।
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