बापू नंदन मिश्र/शफी उस्मानी
भाद्रपद के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को कृष्ण जन्माष्टमी का त्योहार मनाया जाता है। हिंदू धर्म के अनुसार राधा रानी के बिना भगवान श्रीकृष्ण की पूजा अधूरी माना जाती है। जन्माष्टमी के 15 दिन बाद राधा अष्टमी का त्योहार मनाया जाता है।
सनातन धर्म के अनुसार अगर आप कृष्ण जन्माष्टमी के दिन उनकी पूजा करते हैं व्रत रखते हैं तो इस पूजा का फल आपको तब तक नहीं मिलता जब तक आप राधाष्टमी के दिन पूजा व्रत नहीं करते। राधा अष्टमी के दिन संकल्प के साथ व्रत करने से हर मनोकामना पूरी होती है।
हिंदू मान्यता के अनुसार अगर आप राधा अष्टमी वाले दिन उनका व्रत रखते हैं तो उसके जीवन के सभी पाप दूर हो जाते हैं आपको उनकी पूजा से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। कहते हैं राधा रानी की कृपा से साधक के सभी दुख पलक झपकते दूर होते हैं उसकी सभी मनोकामनाएं पूरी भी हो जाती हैं।
राधा अष्टमी व्रत की पूजा विधि
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