Varanasi

एशियन ब्रिज इंडिया और ग्रामीण पुनर्निर्माण संस्थान द्वारा अन्तर्राष्ट्रीय महिला मानवाधिकार रक्षक दिवस के अवसर पर संगोष्ठी का हुआ आयोजन

शाहीन बनारसी

वाराणसी: भारतीय शिक्षा निकेतन स्कूल बेनीपुर में साधिका परियोजना के तहत एशियन ब्रिज इंडिया और ग्रामीण पुनर्निर्माण संस्थान द्वारा 16 दिवसीय महिला हिंसा विरोधी पखवाड़े के पांचवें दिन अन्तर्राष्ट्रीय महिला मानवाधिकार रक्षक दिवस के अवसर पर एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस संगोष्टी में समाज में हो रहे लैंगिक भेदभाव व सत्ता पर बातचीत किया गया।

प्रमुख रूप से यह संगोष्ठी में शिक्षिकाओं, आंगनबाड़ी कार्यकर्ती, एनम, सामाजिक कार्यकर्ता, आशा कार्यकर्ती और अलग अलग सामाजिक संगठनों की महिला प्रतिनिधियो के लिए आयोजित हुई थी। कार्यक्रम में शामिल हुई और समाज में महिलाओं के साथ होने वाली हिंसा और उस हिंसा को उनके द्वारा रोकने का प्रयास करने वाली महिला मानव अधिकार कार्यकर्ताओं को किस तरह की परिस्थितियों और हिंसा का सामना करना पड़ा का ज़िक्र और मंथन हुआ।

वक्ताओं द्वारा इस बिंदु पर अपने-अपने व्यक्तिगत व कार्यक्षेत्र के अनुभव को साझा किया गया और बताने की कोशिश कि हमारा समाज में वर्तमान सामाजिक परिवेश में महिलाओं कि क्या स्थिति है। जबकि संविधान ने अधिकार तो दिया है लेकिन समाज इसको स्वीकार नहीं करता है। एशियाई ब्रिज इंडिया के अध्यक्ष मोहम्मद मूसा आजमी ने अपने वक्तव्य में कहा कि जब भी कोई महिला किसी के अधिकारों की लड़ाई लड़ती है, तो समाज उस महिला को को घर-तोड़ू या विदेशी संस्कृति मानने वाली महिला जैसे अलंकारों से संबोधित करता है।

मुसा आज़मी ने बताया कि इस तरह की महिला मानवाधिकार कार्यकर्ताओं के ऊपर समाज द्वारा विभिन्न प्रकार के हमले किए जाते रहे हैं। जिसको ध्यान में रखते हुए वर्ष 2006 से से पूरी दुनिया में 29 नवंबर को विशेष तौर पर महिला मानवाधिकार कार्यकर्ता रक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता है। उन्होंने यह भी कहा कि कोई भी महिला ट्रांसजेंडर, लेस्बियन के अधिकारों की बात करती है या जेंडर जस्टिस पर काम करने वाला कोई भी व्यक्ति महिला मानवाधिकार कार्यकर्ता के रूप में पहचाना जाता है।

उन्होने कहा कि ऐसे मानवाधिकार कार्यकर्ताओं हेतु विशेष तरह के प्रावधान की आवश्यकता है। ताकि समाज को हिंसा मुक्त समाज बनाया जा सके। क्योंकि सिर्फ महिला अधिकार कार्यकर्ता ही समझ में समता और हिंसा मुक्त समाज के निर्माण की बात करती है। संगोष्ठी का संचालन नीति ने किया और स्वागत सरिता द्वारा किया गया। कार्यक्रम में मुख्य रूप से दीक्षा, अनुज, शिवांगी, मन्जु, कंचन, महेन्द्र, विनोद, ओमप्रकाश, फहमीदा बानो, सुशीला, सुनिता, पुनम, निर्मला, इन्दुकला आदि लोग शामिल हुए।

pnn24.in

Recent Posts

महाराष्ट्र: पुष्पक ट्रेन में आग लगने की अफवाह पर ट्रेन से कूदे कई यात्री, दूसरी ट्रेन की चपेट में आने से हुवे घायल

ईदुल अमीन डेस्क: महाराष्ट्र में एक बड़ी रेल दुर्घटना सिर्फ महज़ एक अफवाह के कारण…

3 hours ago

अमेरिका में रह रहे 20 हजार भारतीयों को निकालने की ट्रंप सरकार कर रही तैयारी, भारत ने भी बनाया प्लान

मो0 कुमेल डेस्क: डॉनल्ड ट्रंप अमेरिका के नए राष्ट्रपति के तौर पर शपथ लेने के…

4 hours ago

प्रयागराज: शहर की यातायात व्यवस्था ध्वस्त, हर तरफ जाम का झाम

तारिक खान प्रयागराज: महाकुम्भ नगर प्रयागराज शहर में यातायात व्यवस्था बिल्कुल ध्वस्त हो चुकी है,…

8 hours ago

इसराइल के सेना प्रमुख ने किया इस्तीफे की घोषणा, हमास ने तीन बंधक किये रिहा, बदले में इसाइल ने 90 फलिस्तीनी किये रिहा

आदिल अहमद डेस्क: इसराइली डिफ़ेंस फ़ोर्सेस के चीफ़ ऑफ़ स्टाफ़ हरज़ी हालेवी ने अपने पद…

10 hours ago