मिस्बाह बनारसी
डेस्क: असम में राहुल गांधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा को लेकर ऍफ़आईआर दर्ज की गई है। मंगलवार सुबह असम पुलिस ने राहुल गांधी और कांग्रेस कार्यकर्ताओं को जोराबाट में आगे बढ़ने से रोकने के लिए बैरिकेटिंग लगा दिया था। समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, ये बैरिकेड इसलिए लगाए गए थे, ताकि यात्रा को गुवाहाटी में प्रवेश करने से रोका जा सके। जिसको कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने हटाने की कोशिश की। इसके बाद असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने राज्य की पुलिस को राहुल गांधी के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज करने के लिए कहा है।
यात्रा शुरू करने से पहले राहुल गांधी ने कहा कि असम के सीएम, गृहमंत्री और प्रधानमंत्री भले ही क़ानून तोड़ सकते हैं, लेकिन कांग्रेस का कोई कार्यकर्ता क़ानून को नहीं तोड़ेगा। उन्होंने कहा, ‘मगर आप ये मत सोचिए कि हम लोग कमज़ोर हैं। कांग्रेस के कार्यकर्ता बब्बर शेर हैं। अपनी शक्ति को पहचानो।’ इसके बाद जब पुलिस ने इस यात्रा को रोका तो कांग्रेस कार्यकर्ता बैरिकेडिंग हटाने की कोशिश करने लगे और राहुल गांधी ज़िंदाबाद के नारे लगाते नज़र आए।’
इससे पहले, सोमवार को असम पुलिस ने राहुल गांधी को असमिया समाज के प्रतिष्ठित वैष्णव संत श्रीमंत शंकर देव की स्थली बटाद्रवा थान मंदिर जाने से रोक दिया गया था। स्थानीय प्रशासन ने उन्हें यहां से क़रीब 17 किलोमीटर पहले ही हैबरगांव में रोका गया था। इससे नाराज़ होकर वे यहीं पर धरने पर बैठ गए थे। धरने पर बैठने से पहले उन्होंने मीडिया से कहा था, ‘ऐसा लगता है जैसे आज केवल एक व्यक्ति को मंदिर में प्रवेश की अनुमति है। क्या पीएम मोदी तय करेंगे कि मंदिरों में कौन जाता है?’
उनका इशारा उसी समय अयोध्या राम मंदिर में हो रहे प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम की ओर था। हालांकि, इससे एक दिन पहले ही असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा था कि राहुल गांधी को बटाद्रवा नहीं जाना चाहिए। उन्होंने कहा था, ‘हम राहुल गांधी से अनुरोध करेंगे कि वह सोमवार को राम मंदिर के अभिषेक समारोह के दौरान बटाद्रवा न जाएं, क्योंकि इससे असम की गलत छवि बनेगी।’ इसके अलावा उन्होंने मोरीगांव, जगीरोड़ और नेल्ली को संवेदनशील क्षेत्र बताते हुए कहा था कि राहुल गांधी ने यह अल्पसंख्यक बहुल इलाक़ों से होकर जाने वाला रास्ता चुना है, जिसे टाला जा सकता था।
अब मंगलवार को बैरिकेड तोड़े जाने की घटना के बाद, असम के सीएम ने एक्स (पहले ट्विटर) पर राहुल गांधी की आलोचना करते हुए लिखा, “ये असमिया संस्कृति का हिस्सा नहीं हैं। हम एक शांतिपूर्ण राज्य हैं। ऐसी ‘नक्सली रणनीति” हमारी संस्कृति से बिलकुल अलग हैं।’ वह लिखते हैं, ‘मैंने असम पुलिस के डीजीपी को निर्देश दिया है कि वह राहुल गांधी के ख़िलाफ़ भीड़ को उकसाने के कारण एफ़आईआर दर्ज करें। साथ ही उनके हैंडल पर पोस्ट किए गए फुटेज को सबूत के रूप में इस्तेमाल करने का निर्देश दिया है। आपके अनियंत्रित व्यवहार और दिशानिर्देशों के उल्लंघन के कारण गुवाहाटी में बड़े पैमाने पर ट्रैफिक जाम हो गया है।’
वहीं, राहुल गांधी ने कहा कि मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने यात्रा रोककर उन्हें फ़ायदा पहुंचाया है। उन्होंने कहा, ‘आप गाली दो, चाहे कुछ भी करो मैं डरता नहीं हूं।’ एक प्रेस कॉन्फ़्रेंस के दौरान उन्होंने कहा, ‘यात्रा के खिलाफ़ असम के मुख्यमंत्री जो कर रहे हैं, इससे यात्रा को फ़ायदा हो रहा है। यह यात्रा असम में मुख्य मुद्दा बन चुकी है। ये तो इनका (बीजेपी) डराने का तरीका है, हम इनसे डरते नहीं हैं।।।हमारा तो फ़ायदा है, हमारा जो संदेश गाँव-गाँव में जा रहा है क्योंकि जनता पूछ रही है कि ये क्या हो रहा है?’
राहुल ने कहा, ‘जनता पूछ रही है राहुल जी मंदिर जाना चाहते हैं, उन्हें क्यों रोक रहे हैं, राहुल स्टूडेंट्स से बात करना चाहते हैं, क्यों रोक रहे हैं। पदयात्रा जेपी नड्डा (बीजेपी के अध्यक्ष) की चली जाती है, बजरंग दल की चली जाती है, उससे ट्रैफ़िक नहीं रुक रहा है लेकिन हमारी पदयात्रा ट्रैफ़िक रोकती है।’
आफताब फारुकी डेस्क: दिल्ली शराब नीति मामले में कथित घोटाले के आरोप में 156 दिन…
आदिल अहमद डेस्क: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग का प्रमुख बनाए जाने की ख़बरों का भारत के…
सबा अंसारी डेस्क: संसद में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के आंबेडकर पर दिए गए…
ईदुल अमीन डेस्क: इसराइली सेना के मुताबिक़ यमन में मौजूद हूती विद्रोहियों ने राजधानी तेल अवीव पर…
तारिक खान डेस्क: उत्तर प्रदेश के नगीना से सांसद और आज़ाद समाज पार्टी (कांशीराम) के…
मो0 कुमेल डेस्क: कांग्रेस के सांसद गौरव गोगोई और पार्टी के राज्यसभा सांसद प्रमोद तिवारी…