अल शिफा अस्पातल से प्रीमेच्योर 31 बच्चे इलाज हेतु मिस्र हुवे रवाना, गज़ा अस्पताल ने कहा ‘अस्पताल के दरवाज़े पर ही बनी है सामूहिक कब्रे’
ईदुल अमीन
डेस्क: ग़ज़ा में हमास संचालित स्वास्थ्य मंत्रालय के अधिकारी का कहना है कि अल-शिफ़ा अस्पताल से 31 प्रीमेच्योर बच्चों को निकाल लिया गया है। ये बच्चे तीन डॉक्टरों और दो नर्सों के साथ मिस्र भेजे जा रहे हैं। फ़लस्तीनी रेड क्रीसेंट सोसाइटी का कहना है कि संयुक्त राष्ट्र की एजेंसियों की मदद से ये बच्चे रफ़ा क्रॉसिंग के ज़रिए मिस्र ले जाए जा रहे हैं।
ग़ज़ा का सबसे बड़ा अस्पताल अल-शिफ़ा बीते कुछ दिनों से भीषण लड़ाई के केंद्र में है। संयुक्त राष्ट्र ने रिपोर्टों के हवाले से बताया था कि अस्पताल में काम करने वालीं तीन नर्स की मौत हो चुकी है। वहीं हमास के स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया है कि छह प्रीमैच्योर(समय से पहले पैदा हुए) बच्चों की भी मौत हो गई थी।
बच्चों की मौत की वजह ईंधन और बिजली की कमी बताई गई थी। बिजली नहीं होने से इनक्यूबेटर काम नहीं कर रहे थे। यही कारण है कि अब बचे हुए बच्चों को मिस्र ले जाया जा रहा है। इससे पहले कुछ अंतरराष्ट्रीय डॉक्टर, जिन्होंने अल-शिफ़ा का दौरा किया था, उन्होंने अस्पताल को ‘डेथ ज़ोन’ बताया। डॉक्टर्स ने बताया कि अस्पताल के प्रवेश द्वार पर ही सामूहिक कब्र बन गई है।