कचहरी परिषद मे पुलिस और वकील के बीच हुई झड़प, कवरेज करने गये पत्रकारों के साथ कुछ वकीलों ने किया दुर्व्यवहार
आर. के गुप्त.
वाराणसी. मुकदमे की पैरवी के लिए सोमवार को कचहरी पहुंचे भेलूपुर थाने की बजरडीहा चौकी पर तैनात दरोगा उमराव खान को वकीलों ने जमकर पीटा। इस दौरान वकीलों ने दरोगा की वर्दी भी फाड़ दी। वकीलों का अक्रामक तेवर देख दरोगा भागकर न्यायालय में जाकर छिप गया। सूचना पर एसपी सिटी दिनेश सिंह, ए.सी.एम. चतुर्थ, सी.ओ. कैंट और खुफिया विभाग के अफसर पहुंचे. वकीलों का आरोप था कि दरोगा ने छठ पर घाट तक वाहन नहीं ले जाने दिया जिसके फल स्वरुप यह घटना हुई है.
मिली जानकारी के मुताबिक डाला छठ के दिन कैंट क्षेत्र का एक वकील परिवार के साथ अस्सी घाट की ओर जा रहा था। दरोगा उमराव खान की यातायात व्यवस्था में ड्यूटी लगी थी। दरोगा ने वकील को घाट की ओर नहीं जाने दिया। इस पर दोनों पक्षों में विवाद भी हुआ. वकील के अनुसार दरोगा ने कथित दूरर्व्यवहार भी किया था। सोमवार को एक मुकदमे की पैरवी में दरोगा उमराव खान दीवानी न्यायालय परिसर स्थित निर्माणाधीन नौ मंजिला भवन के पास पहुंचा। दरोगा अपने साथी के साथ चाय पी रहा था। इसी दौरान वकील ने दरोगा को देखा तो डाला छठ के दिन दुर्व्यहार के बाबत पूछताछ शुरू कर दी। इस पर दोनों पक्षों में विवाद होने लगा। यह देख अन्य वकील भी पहुंच गए और दरोगा को पीटना शुरू कर दिया|
मांफी मांगने पर भी नहीं माने वकील-
पिटाई के दौरान दरोगा ने वकीलों से माफी भी मांग ली। पर, वकील नहीं माने। इसी दौरान कुछ वरिष्ठ अधिवक्ता पहुंचकर बीच बचाव करने लगे। इसी बीच मौका पाकर दरोगा भागकर न्यायालय कक्ष में छिप गया। सूचना पर कैंट थाने के कुछ दरोगा और पुलिस कर्मी पहुंचे लेकिन वकीलों के तेवर देख उन्हें लौटना पड़ा
कड़ी स़रक्षा के बीच निकाला कोर्ट से बाहर
दरोगा को न्यायालय कक्ष में बंधक बनाने और घेरेबंदी की सूचना पर पुलिस व प्रशसनिक अफसर पहुंचे। वकीलों ने अफसरों के सामने दरोगा पर दुर्व्यवहार का आरोप लगाया। एसपी सिटी ने दरोगा को निलम्बित कर कार्रवाई काले आश्वासन किया। शाम साढ़े चार बजे पुलिस ने कोर्ट के अंदर ही दरोगा को दूसरा शर्ट पहनाकर कड़ी सुरक्षा के बीच कोर्ट परिसर से बाहर ले जा सकी।
पत्रकारों के साथ भी किया दुर्व्यवहार
तो वही कचहरी परिषद मे कवरेज़ करने पहुंचे पत्रकारों के साथ कुछ वकीलों ने दुर्व्यवहार किया साथ ही कैमरा छीन कर तोड़ने की कोशिश की परंतु पत्रकारों ने किसी तरह अपना कैमरा व अपनी जान बचाकर किसी तरह कचहरी परिषद से बाहर भाग निकले। देखने वाली बात यह है कि इसके पूर्व भी अधिवक्ताओ के द्वारा पत्रकारों से दुर्व्यवहार की घटनाये होती रहती है. अक्सर मुख्यालय के पश्चिमी गेट के बाहर पत्रकारों हेतु अरक्षित जगह पर अधिवक्ताओ द्वारा अपना वाहन खड़ा करने के बाद पत्रकारों से दुर्व्यवहार करने की कई घटनाये हो चुकी है.