तिरंगे में लिपट कर अंतिम बिदाई ली आजमगढ़ के लाल ने

यशपाल सिंह /संजय 
आज़मगढ़ : भारतीय नौ सेना के युद्धपोत आईएनएस बेतवा के मुम्बई के डाकयार्ड में दो दिन पूर्व दुघर्टनाग्रस्त हो जाने से मृत नौ सैनिक नीरज राय के तिरंगे में लिपटे शव के गुरुवार को घर पहुचने पर सैलाब उमड़ पडा। जब तक सूरज चांद रहेगा नीरज तेरा नाम रहेगा के उदघोष से आस पास गुजांयमान हो गया। सैनिक सम्मान के साथ शव पैतृक आवास से अतिंम सस्कार के लिए दोहरीघाट के लिए ले जाया गया। आज़मगढ़ के रानी की सराय क्षेत्र के सेठवल खलीलाबााद निवासी हंसराज राय के तीन पुत्रो में नीरज राय (35वर्ष) भारतीय नौ सेना में कार्यरत था। इन दिनो मुम्बई में तैनाती थी। 5 दिसम्बर को मुम्बई में युद्धपोत आइएनएस दुघर्टनाग्रस्त हो गया था। इस पर 16 सैनिक सवार थे जिसमें 14 बच निकले जबकि 2 सैनिको की दुखद मौत हो गयी। मृतक में शामिल नीरज राय के मौत की खबर पर पिता हंसराज राय अपने मझले पुत्र धीरज जो आर्मी में तैनात है और परिवार समेत दिल्ली में रहता है। वही से हंसराज पुत्र धीरज के साथ मुम्बई चले गये जहा से बहू के साथ कल शाम को घर पहुचे जबकि पुत्र धीरज नीरज के शव के साथ आज पहुचा। खलीलाबाद स्थित आवास पर लोगो की भीड़ जमा हो गयी थी। बुधवार को शव विमान से बाबतपुर पहुचा जहा से बीएचयू ले जाया गया । गुरुवार दिन में शव एम्बुलेंस से रानीकीसराय के लिए लाया गया। एम्बुलेंस से शव ज्यो ही क्षेत्र में पहुचा वहा पहले से ही सैकडो की संख्या में लोग मौजूद थे। यहा पर एसडीएम सदर, सीओ नगर भी रहे। युवा जब तक सूरज चांद रहेगा नीरज तेरा नाम रहेगा। भारत माता की जय के उदघोष करते हुए शव घर खलीलाबाद पैतृक गाँव व घर मेे पहुचा। यहा पर सुबह से ही लोगो का हूजूम था।शव पहुचते ही चीख पुकार मच गयी। यहा पर गोरखा रेजिमेंट के जवानो ने सलामी दी। शव को दर्शनार्थ रखा गया जहा परिज़नों के करूणक्रदंन से सभी की आखें नम हो गयी। परिज़नों का कहना है कि यह एक दुर्घटना थी।

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