पिछले पांच सालों से शमशान घाट जाने के लिए गुज़रना पड़ता है इस नर्क समान मार्ग से, नही है कोई पुरसाहाल
गौरव जैन
रामपुर – पिछले करीब 5 सालों से कोसी मार्ग स्थित शमशान घाट को जाने वाली सड़क का हाल बेहाल है बारिश के दिनों में ये सड़क एक बड़े तालाब का रूप ले लेती है और बिना बारिश के समय ये सड़क गंदे नाले के रूप में रहती है। जिसकी वजह से लोगो को गंदे पानी मे पैदल चल कर अर्थी को शमशान घाट तक ले जाना पड़ता है। रामपुर में कई सामाजिक संगठनों के पदाधिकारियों द्वारा जिला प्रशासन को इस सड़क के बारे में अवगत कराया जा चुका है अब तो उन पदाधिकारीयो में से भी कई वरिष्ठ पदाधिकारी स्वर्ग सिधार गए और उनके परिजनों को भी इसी नाला रूपी सड़क के जरिये उनकी अर्थी को उनके अंतिम संस्कार के लिए शमशान घाट तक ले जाना पड़ा है।
उसके बाद भी जिला प्रशासन से इस सड़क को ठीक करवाने की बात की जाती है तो प्रशासन की तरफ से केवल एक झूठा वादा जनता को दिया जाता है कि सड़क के लिए बहुत जल्द पैसा आने वाला है और सड़क ठीक करा दी जाएगी। इन पांच बर्षो में जिलाधिकारी आते गए और केवल जनता को झूठा वादा करके जाते रहे। तत्कालीन जिलाधिकारी शिव सहाय अवस्थी ने इस सड़क का दौरा भी किया था तथा अपने अधिकारियों को नाटकीय ढंग से जनता को दिखाने के कड़ी फटकार भी लगाई थी लेकिन मार्ग ठीक नही हुआ। उसके बाद कुछ युवाओं ने मार्ग को ठीक करने का बीड़ा उठाया और अपनी तरफ से कार सेवा कर मार्ग को ठीक करने की कोशिश की जब उनके पास धन की आपूर्ति होने लगी तो उन्होंने तत्कालीन जिलाधिकारी महेन्द्र बहादुर सिंह से इस मार्ग को ठीक करवाने की मिन्नतें की, जिलाधिकारी महेन्द्र बहादुर सिंह ने ये युवाओं को ये बोलकर टरका दिया कि सरकार से पैसा आ चुका है और बहुत जल्द उस मार्ग के किनारे से नाले का निर्माण करा दिया जाएगा लेकिन उनका किया वादा भी खोखला निकला
इस पर युवाओं ने सावन के माह में इस मार्ग को ठीक करवाने के लिए मोर्चा खोल दिया और प्रशासन को चेतावनी दी कि जल तभी चढ़ाएंगे जब शमशान घाट का मार्ग ठीक नही हो जाता इस पर प्रशासन ने उन युवाओं को लुभाने के लिए नाले का निर्माण शुरू करवा दिया लेकिन जैसे ही सावन माह खत्म हुआ और युवाओं द्वारा जल शिवलिंग पर चढ़ा दिया गया तो प्रशासन द्वारा फिर से पैसे न आने का बहाना बोलकर काम को रुकवा दिया गया । जिला सहकारी बैंक के सभाकार कक्ष में तत्कालीन बीजेपी सांसद नेपाल सिंह से भी जीएसटी की व्यापारियों संग बैठक में मार्ग को ठीक करवाने लिए युवाओं द्वारा पूछा गया था कि रामपुर की जनता कितना जीएसटी या कर रामपुर प्रशासन को दे जिससे ये मार्ग ठीक हो सके तब भी तत्कालीन सांसद द्वारा कोई संतोषजनक जवाब नही मिला।
जिस पर रामपुर की जनता ने सांसद नेपाल सिंह को बताया था कि शमशान घाट को जाने वाली सड़क अब हिन्दू समाज का मुद्दा बन चुकी है और प्रशासन द्वारा लगातार झूठ वायदा करके मार्ग को ठीक न करवाने से हिन्दू समाज मे रोष है और जनता आगामी चुनाव में इसका जवाब देगी और रामपुर की जनता ने रामपुर में बीजेपी को वोट न देकर समाजवादी को वोट देकर आज़म खाँ को जीत दर्ज करवाई और मार्ग को ठीक होने का सपना देखने लगी । लेकिन प्रशासन द्वारा मौजूदा लोकसभा सांसद , राज्य सभा सांसद , नगर पालिका अध्यक्ष एवं इनके करीबियों के ऊपर मुकदमे दर्ज कर उनको भी इस मार्ग को ठीक करवाने में रुकावट डालने लगा है।
कुछ समय पूर्व मौजूदा जिलाधिकारी से एक निजी संस्था के पदाधिकारियों ने मुलाकात कर ज्ञापन सौपा जिसमे उन्होंने जिला प्रशासन से इस मार्ग को ठीक करवाने की मांग की और जिलाधिकारी को बताया कि अगर रामपुर प्रशासन के पास मार्ग ठीक करवाने के लिए पर्याप्त धन नही है तो उनको अनुमति प्रदान कर दी जाए जिससे वो कारसेवा द्वारा स्वम् इस मार्ग को ठीक करवा देंगे तब भी जिलाधिकारी आजनेन्य कुमार सिंह द्वारा मार्ग को अतिशीघ्र ठीक करवाने का आश्वासन मिला लेकिन अब तक मार्ग की हालत खराब है और मौजूदा समय मे इस मार्ग ने तालाब का रूप धारण कर लिया है।
रामपुर जिलाधिकारी आजनेन्य कुमार सिंह का कार्य जनता के हित मे अतुलनीय रहा है जिसकी रामपुर की जनता तारीफ करती है। कुछ दिन पहले जिलाधिकारी ने स्वम् फावड़ा लेकर अजितपुर के नाले की सफाई की जिस पर कोई चलता फिरता नही है, अगर जिलाधिकारी आजनेन्य कुमार सिंह ने अजितपुर नाले की जगह इस नाले रूपी मार्ग की सफाई की होती तो रामपुर की जनता एवं हिन्दू समाज को विश्वास हो जाता कि मौजूदा जिलाधिकारी इस मार्ग को ठीक करवाने के लिये गंभीर है लेकिन उन्होंने ऐसा नही किया। रामपुर की जनता को जिला प्रशासन एवं बीजेपी नेताओं के झूठे वादों की अब आदत पड़ चुकी है जिसका दुष्परिणाम आगामी होने वाले उप चुनाव में पड़ने की संभावना है और एक बार फिर रामपुर की जनता बीजेपी को हार का सामना दिखायेगी जिसके जिम्मेदार मौजूदा सरकार के राज्य मंत्री, केंद्रीय मंत्री एवं रामपुर का जिला प्रशासन होगा।