ज्ञानपुर नगर-पंचायत में जगह-जगह गंदगी व कूड़ा
प्रदीप दुबे विक्की
ज्ञानपुर, भदोही। छोटा नगर ,आबादी कम, फिर भी गंदगी से पटी सड़क ज्ञांनपुर की पहचान बन गयी है। पूरा नगर गंदगी से पटा है, नगर का शायद ही कोई इलाका गली, चौराहा, बाजार व सड़क है, जो गंदगी व कूड़ा करकट से पटा नहीं है। जिला चिकित्सालय चेतसिह समेत वार्ड संख्या 1 गोपीपुर ,वार्ड संख्या 4 के गांधी पार्क ,वार्ड संख्या 6 के गोपाल स्वीट हाऊस के पीछे और नारायण कालोनी मार्ग पर बच्चों के प्राईमरी पाठशाला के पास. वार्ड संख्या 10 के जामा मस्जिद के पास ,वार्ड संख्या 11 के गड़ही एवं वार्ड संख्या 8 के कब्रिस्तान मार्ग के समीप समेत पूरे नगर का यही हाल है।
लोग घरों का कूड़ा-कचरा सड़क पर डाल रहे हैं। निजी क्लीनिकों के द्वारा बैंडेज, काटन, दवा व सीरिज आदि का अपशिष्ट सड़क पर फेंका जा रहा है। लेकिन मुख्य सड़क छोड़कर मुहल्ले में नहीं जाती है। वह भी नगर के कुछ निश्चित स्थानों से ही कूड़े-कचरे उठाती है। लिहाजा लोगों की परेशानी बढ़ गयी है। सड़क पर कूड़ा-कचरा होने की वजह से सुअर, कुत्ता, आवारा पशु धमाचौकड़ी करते नजर आते हैं।
इसी प्रकार महाराजा चेतसिह जिला चिकित्सालय के इमरजेंसी रूम के पीछे आसपास फैली गंदगी व उससे निकली सड़ांघ से इलाज के लिए भर्ती मरीजों का रहना भी मुश्किल होता जा रहा है। पिछड़े इलाकों की बात कौन कहे रिहायशी इलाकों में भी गंदगी का साम्राज्य बरकरार है। सार्वजनिक स्थलों पर कूड़े कचरे का अम्बार है। नालियां है तो स्लैब नहीं, और स्लैब है , तो सफाइ के लिये अक्सर नहीं उठते हैं। कहीं पानी तो कहीं कचरे का बोलबाला है।तो कहीं सूखे कचरे से लिपटी गंदगी फैलने से लोगों का जीना मुहाल हो गया है।
नगर पंचायत कार्यालय में सफाई कर्मियों की संख्या का अभाव भी नहीं है, लेकिन कई स्थानों पर रखे गए कूड़ेदान या तो टूट गए हैं अथवा धीरे-धीरे गायब हो चुके हैं। साधन के नाम पर नगर पंचायत के लिए ट्रैक्टर मौजूद है लेकिन गंदगी इतनी बढ़ गई है कि लोग परेशान हैं। नगर से मच्छर भगाने के लिए फागिंग मशीन तो उपलब्ध है लेकिन समय-समय पर फागिंग मशीन चलाई नहीं जाती है। जिस कारण यहां लोग मच्छरों के प्रकोप से परेशान हैं , वहीं मलेरिया टाइफाइड आदि सहित जानलेवा बीमारियों से आमजन ग्रसित हो रहे हैं। चिकित्सालय के चिकित्सा कर्मी के अलावा निजी क्लीनिक के अगल बगल फेंके गए अपशिष्ट से समूचा नगर पंचायत गंदगी से बजा रहा है।