बलिया।। जनपद के अधिकांश अस्पतालों में न तो रुई है न सुई। न तो डाक्टर हैं न दवाई। ऐसे में सरकार की मंशा के अनुसार गरीबों का निशुल्क इलाज कैसे संभव है। बैरिया क्षेत्र के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सोनबरसा व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कोटवां पर डाक्टरों की मौजूदगी है जो अस्पताल में दवाइयों के अभाव में रोगियों को बाहर की दवा लिखते देखे जा सकते हैं। वहीं नवीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कर्ण छपरा, नवीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बहुआरा, नवीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र गोपालपुर सहित क्षेत्र के दर्जन भर अस्पताल अब भी चिकित्सकों के अभाव में स्वास्थ्यकर्मियों के सहारे चल रहे हैं। ग्रामीणों के बार-बार आग्रह व बैरिया विधायक सुरेंद्र सिंह के बार-बार हस्तक्षेप के बावजूद इन अस्पतालों पर न तो चिकित्सकों की तैनाती हुई और न ही दवाइयां मुहैया कराई गईं।
बताते हैं कि कागज में चिकित्सक की भी तैनाती है, दवाइयों की आपूर्ति हो रही है। फलस्वरूप यहां की स्वास्थ्य सेवा पूरी तरह से झोलाछाप के सहारे चल रही है। झोलाछाप रोगियों का आर्थिक शोषण करने के साथ ही लोगों के स्वास्थ्य के साथ भी खिलवाड़ कर रहे हैं। ऐसे में कैसे सुधरेगी यहां की चिकित्सा व्यवस्था, यह यक्ष प्रश्न है। इस संदर्भ में अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डा. नवीन कुमार सिंह ने बताया कि अधिकांश स्थानों पर चिकित्सकों की तैनाती हो चुकी है जो शेष बचे हैं वहां भी तैनाती की प्रक्रिया चल रही है। जल्द ही सब कुछ चुस्त-दुरुस्त हो जाएगा।
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