Categories: Religion

आज है धनतेरस – जाने कैसे किया जाये आज माँ लक्ष्मी की पूजा अर्चना

बापूनंदन मिश्रा

धन की माता मां लक्ष्मी को कहा जाता है। आज धनतेरस का त्योहार है। इस दिन प्रदोष काल में मां लक्ष्‍मी की विशेष पूजा करने से साल भर माँ लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है। मान्यता है कि धनतेरस के दिन ही क्षीर सागर मंथन के दौरान मां लक्ष्मी प्रकट हुई थीं। इसीलिए इस दिन माता लक्ष्मी की पूजा करना बेहद शुभ माना जाता है।

धनतेरस पर मां लक्ष्‍मी के साथ महालक्ष्‍मी यंत्र की पूजा भी की जाती है। हिन्दू कैलेंडर के मुताबिक, हर साल कार्तिक मास की तेरस यानी 13वें दिन धनतेरस मनाया जाता है। धनतेरस को धनत्रयोदशी, धन्‍वंतरि त्रियोदशी या धन्‍वंतरि जयंती नाम से भी जाना जाता है। आप भी इस धनतेरस मां लक्ष्मी का अपने घर में पूजन करें, तो नीचे दी पूजा-विधि को ध्यान से जरूर पढ़ लें।

जाने कैसे करे मां लक्ष्मी की पूजा

  • सबसे पहले लाल रंग के कपड़े पर बिछाएं। उसपर मुट्ठी भर अनाज रखें। अनाज के ऊपर चांदी, तांबे या फिर मिट्टी के कलश रखें।
  • इस कलश में तीन चौथाई मात्रा में पानी भरें और थोड़ा-सा गंगाजल मिला लें।
  • इस कलश में फूल, अक्षत, सिक्का और सुपारी डालकर। कलश के ऊपर पांच आम के पत्ते लगाएं। इन पत्तों के ऊपर किसी भी धातु के बर्तन में धान भरकर रखें।
  • धान पर हल्दी से कमल का फूल बनाएं और उसपर मां लक्ष्मी की मूर्ति को बैठाएं। प्रतिमा के आगे कुछ सिक्के रखें।
  • कलश के सामने दक्षिण-पूर्व दिशा में दाहिनी तरफ भगवान गणेश की मूर्ति रखें।
  • आप जिस भी चीज़ का काम करते हों, अपने काम का प्रमुख औजार या साधन को पूजा स्थान पर रखें।
    अब पूजा के लिए इस्‍तेमाल होने वाले पानी को हल्‍दी और कुमकुम अर्पित करें।
  • अब इस मंत्र का उच्‍चारण करें
    ॐ  श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलिए प्रसीद-प्रसीद
    ॐ  श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्मिये नम:
  • अब हाथों में फूल लेकर आंख बंद करें और मां लक्ष्‍मी का ध्‍यान करते हुए फूल अर्पित करें।
  • अब एक गहरे बर्तन या थाली में मां लक्ष्‍मी की प्रतिमा रखकर उन्‍हें पंचामृत (दही, दूध, शहद, घी और चीनी का मिश्रण) से स्‍नान कराएं। इसके बाद पानी में सोने का आभूषण या मोती डालकर स्‍नान कराएं।
  • अब प्रतिमा को पोछकर वापस कलश के ऊपर रखे बर्तन में रख दें। आप चाहें तो सिर्फ पंचामृत और पानी छिड़ककर भी स्‍नान करा सकते हैं।
  • अब मां लक्ष्‍मी की प्रतिमा को चंदन, केसर, इत्र, हल्‍दी, कुमकुम, अबीर और गुलाल अर्पित करें।
  • अब मां की प्रतिमा पर फूलों का हार चढ़ाएं। साथ ही उन्‍हें बेल पत्र और गेंदे का फूल अर्पित कर धूप जलाएं।
  • अब मिठाई, नारियल, फल, खीले-बताशे अर्पित करें।
  • इसके बाद प्रतिमा के ऊपर धनिया और जीरे के बीज छिड़कें।
  • अब आप घर में जिस स्‍थान पर पैसे और जेवर रखते हैं वहां पूजा करें। इसके बाद माता लक्ष्‍मी की आरती उतारें।

pnn24.in

Recent Posts

आशा सामाजिक शिक्षण केन्द्रों का हुआ संचालन प्रारम्भ, वाराणसी जनपद में कुल 11 केंद्र का संचालन लगभग 350 बच्चे हो रहे हैं लाभान्वित

शाहीन अंसारी वाराणसी: विगत वर्षों की भांति इस वर्ष भी सामाजिक संस्था आशा ट्रस्ट द्वारा…

8 hours ago

एशियन ब्रिज इंडिया, मेन एंगेज इंडिया और साधिका ने मनाया अंतरराष्ट्रीय महिला हिंसा विरोधी दिवस

ए0 जावेद वाराणसी: महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के शिक्षाशास्त्र विभाग में अंतर्राष्ट्रीय महिला हिंसा विरोधी…

9 hours ago

संभल जामा मस्जिद प्रकरण में बोले ओवैसी ‘अदालत द्वारा बिना मस्जिद का पक्ष सुने आदेश पास करना गलत है’

निलोफर बानो डेस्क: उत्तर प्रदेश के संभल ज़िले में शाही जामा मस्जिद के सर्वे के…

9 hours ago

संभल हिंसा में मृतकों की संख्या बढ़कर हुई 4, बोले डीआईजी ‘इस मामले में निष्पक्ष जाँच होगी’

निलोफर बानो डेस्क: उत्तर प्रदेश के संभल ज़िले में शाही जामा मस्जिद के सर्वे के…

9 hours ago