बब्लू कुरैशी के इनपुट सहित ए जावेद की रिपोर्ट
वाराणसी। इस्लामिक कैलंडर में सफ़र का महीना ख़त्म होने के मुकाम तक पहुँच गया है। आने वाला महीना रबी-उल-अव्वल का है। इस महीने को आम बोल चाल की भाषा में बारावफात भी कहते है। इस महीने में सरकार-ए-दोआलम, आका सर्वर-ए-कायनात प्यारे मुहम्मद मुस्तफा (सल्लल्लाहू अलैही वसल्लम) के आमद का महीना है और दुनिया भर में मुस्लिम समुदाय के द्वारा जश्न-ए-आमद-ए-रसूल पुरे हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है।
जश्न-ए-आमद-ए-रसूल की तैयारी पुरे देश में शुरू हो गयी है। इस कड़ी में वाराणसी के अन्जुमनो के द्वारा भी तैयारी का सिलसिला जारी है और अपने-अपने दफ्तर में अंजुमन प्रैक्टिस कर रही है। प्रैक्टिस के दौरान जश्न-ए-आमद-ए-रसूल की ख़ुशी में अंजुमन जो नए कलाम सरकार की शान में पढ़ेंगी, वह कलाम अंजुमन अपने प्रैक्टिस में ले रही है। लगभग हर एक अंजुमन के दफ्तर में बाद नमाज़-ए-ईशा खुबसूरत नातिया कलाम की आवाज़े कानो में शक्कर से भी ज्यादा मिठास घोलते हुए दिल को तसल्ली और सुकून पहुंचा रही है।
इसी कड़ी में बनारस ही नहीं बल्कि पूर्वांचल की शान माने जाने वाली अंजुमन फलाह-ए-दीन जो मशहुर आलिम मौलाना ज़किउल्लाह असदुल्लाह कादरी के सरपरस्ती में चलती है, के द्वारा भी जश्न-ए-आमद-ए-रसूल की तैय्यारियाँ शुरू कर दी गयी है। अंजुमन के सदर तनवीर खान ने हमसे बात करते हुए बताया कि हर साल की तरह इस साल भी हमारी अंजुमन जश्न-ए-आमद-ए-रसूल की ख़ुशी में कलाम पेश करेगी। जिसकी प्रैक्टिस अभी से जारी हो चुकी है। हम सरकार की शान में हर साल ही नए कलाम पेश करते है। उसी तर्ज पर इस साल भी इंशाल्लाह हम नए कलाम से जायरीनो को जश्न-ए-आमद-ए-रसूल की खुशियाँ देने की कोशिश करेंगे।
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