वाराणसी में रोपवे परियोजना को नही मिला 5 महीने बाद भी निवेशक तो अब होगा होगा परियोजना में बदलाव

मो0 दानिश

वाराणसी: वाराणसी में कैंट से गिरजाघर तक जाने वाले रोपवे परियोजना को धरातल पर उतारने की वाराणसी विकास प्राधिकरण की योजना को एक बड़ा धक्का लगा है। नवम्बर 2021 में जारी टेंडर के बाद 15 अप्रैल टेंडर के आखरी दिन तक कोई भी निवेशक सामने नही आया है।

अब वाराणसी विकास प्राधिकरण इस प्रोजेक्ट को नए सिरे से तैयार करके दुबारा निविदा जारी करने की तैयारी में है। मिली जानकारी के अनुसार कैंट से गिरिजाघर तिराहे तक प्रस्तावित रोपवे परियोजना को धरातल पर उतारने के लिए विकास प्राधिकरण इसके डिजाइन में बदलाव कर सकती है।

दरअसल, इस परियोजना को निविदा के आखरी दिन तक कोई भी निवेशक नही मिल सका। इस परियोजना हेतु नवम्बर में जारी निविदा के बाद रोपवे परियोजना की प्री बिड में सात फर्म सामने आई थी और चार के मालिकों ने लिखित रूप से काम करने की इच्छा जताई। मगर समय बीतने के साथ ही कंपनियों ने परियोजना से खुद को अलग कर लिया। यही कारण है कि अब वीडीए ने रूट के साथ ही कार्यदायी संस्थाओं के हित में बड़े बदलाव का फैसला किया है।

बता दें कि रोपवे निर्माण में सक्रिय ईसीएल मैनेजमेंट, एसडीएचडीएचडी, डोपल्मेयर, एफआईएल, पोमा, एक्त्रसन इंफ्रा, एजीस इंडिया व कन्वेयर एंड रोपवे सिस्टम फर्मों ने प्री बिड में कई तरह के सुझाव दिए थे। उन्हीं सुझावों के आधार पर अब नए सिरे से टेंडर जारी किया जा सकता है। वीडीए उपाध्यक्ष ईशा दुहन ने अपने बयान में कहा है कि  नगर में रोपवे के निर्माण के लिए किसी कंपनी ने हाथ आग नहीं बढ़ाया है। नवंबर 2021 में जारी निविदा के अंतिम दिन 15 अप्रैल तक कोई कंपनी काम करने के लिए आग नहीं आई।

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