आखिर ये कैसी आस्था——–
अमित कश्यप के साथ कैमरा पर्सन अरुण कश्यप
कानपुर।
जो हिंदु संगठन अपने राम के लिये खून बहाने की बाते करते है वो ज़रा उस भगवान की दयनीय मूर्तियों की तरफ़ देख ले।क्योंकि इन्ही मूर्तियों कॊ हिंदु अपने घर के मंदिरों मे सजा कर लाखो मन्नत माँगता है।काम निकल जाने के बाद इन्ही मूर्तियों कॊ रास्ते पर फेक दिया जाता है।
रोज़ हजारो लाखो गाडियां इन मूर्तियों की वो दुर्दशा करते है मानो भगवान की मूर्ति नही हफीज सईद कॊ कुचल रहे हो।वाह रे हिंदु एक तरफ़ तो राम मंदिर के लिये मरने मारने कॊ तैयार बैठा है और दूसरी तरफ़ भगवान की मूर्तियों की ये दुर्दशा।
गंगा पुल कानपुर मे किस तरह होगी गंगा सफाई
कानपुर के गंगा पुल पर पड़ी है भगवान की ढेरों लाशें इन लाशों का कोई पोस्टमार्टम हॉउस नही। कहते है भगवान की यह दुर्दशा है इस धरती पर।