समाप्तप्राय है संगम तट पर कल्पवास
तारिक खान
प्रयागराज के संगम तट पर लगे आस्था के कुम्भ में माघी पूर्णिमा के इस स्नान पर्व के साथ ही त्रिवेणी की रेती पर एक महीने से तम्बुओं में रहकर कल्पवास कर रहे लाखों कल्पवासियों के कल्पवास का समापप्रयाया है।
अपना घर परिवार छोड़कर एक महीने से संगम की रेती में ही तम्बुओं के शहर में संयम और संकल्प के साथ पूजा अर्चना करने के लिए यहाँ जुटे लाखों कल्पवासी भी आज ही के दिन इस कामना के साथ अपने घर लौट जायेंगे की अगले बरस गंगा मैय्या उन्हें दुबारा यहाँ आकर कल्पवास करने लिए बुलायेगी, संगम के तट पर आज आप की जिधर भी नजर जायेगी श्रद्धालुओं का सैलाब ही नजर आयेगा।
एक तरफ जहां देश की कोने कोने से आये श्रद्धालु त्रिवेणी के पावन जल में डुबकी लगा रहे हैं तो वही दूसरी तरफ 3200 एकड़ में बसे इन तम्बुओं के अन्दर एक महीने से सगम की रेती पर रह रहे कल्पवासी भी आज एक महीने के कल्पवास की अपनी आखिरी पूजा अर्चना के साथ वापस अपने घर को लौट जाएंगे।