रामपुर में भारी संख्या में पहुचे प्रवासी मजदूर
हरमेश भाटिया
रामपुर। काम के सिलसिले में दूसरे राज्यों से रह रहे मजदूर लॉक डॉउन के कारण यहाँ पर फस गए या दूसरी जगह से आये मजदूर भी यहाँ फस कर रह गए ,अब प्रदेश सरकार द्वारा राहत मिलने के बात इन मजदूरों को अपने अपने घर लौट रहे है। राहत की बात यह है कि इन मजदूरों की स्क्रीनिंग व जांच करने पर इन लोगो को कोरोना ये लक्षण नहीं मिल रहे है। स्क्रीनिंग के बाद इन मजदूरों को इनके घर भेज जा रहा है। घर जाने के बाद भी ये लोग अपने घर 21 दिन क्वारन्टीन रहेंगे। इस प्रकार रामपुर रोडवेज में लगभग 200 लोग आ चुके है। इन सभी को इनके जिले में भेजा जा रहा है।
वही अपर पुलिस अधीक्षक ने बताया है कि यहां दो तरह के लोग हैं। जिसमें एक वह है जो रामपुर के निवासी हैं, और दुसरे जो अन्य प्रांतों से आए हैं। वह वहां श्रमिक रूप में काम कर रहे थे और आज हमारे जनपद में भेजे गए। तो हम उन्हें उनके घरों के लिए बसों के माध्यम से भेज रहे हैं। सुबह आगरा से बसे 189 लोगों को लेकर आई थी। यह लोग गुजरात के वडोदरा में काम कर रहे थे। वहा से आगरा से फिर बसें यहां लेकर आइ थी। जिन तहसीलों में जहां जहां के निवासी हैं, वहां पर बसों के द्वारा भेजा जा रहा है। पीछे जो बैठे हैं यह वह लोग हरियाणा, दिल्ली, पंजाब, मध्य प्रदेश जो हमारे जनपद में आ गए थे, इनको हमने रोक रखा है। इनका चेकअप स्क्रीनिंग की गई ओर इनको खाना खिला दिया है। इनके लिए योजना बन रही है और जो लोग उत्तर प्रदेश के निवासी हैं, उनको हम उनके जनपदों तक पहुंचाएंगे और जो उत्तर प्रदेश के बाहर के हैं, उन्हें आश्रय स्थलों में रखेंगे। जिला अधिकारी संबंधित विचार विमर्श करके, जैसे ही इनके जाने का आदेश मिलेगा, उनको भी इनके स्थानों तक पहुंचा दिया जाएगा।
किराया नहीं लिया जा रहा है
उन्होंने बताया कि किसी से कोई किराया नही लिया जा रहा है। शासन स्तर पर बिल बना कर भेज जा रहा है, शासन स्तर से सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। यह कुछ लोग जो गुजरात से आये हुए हैं, कुछ मध्य प्रदेश हैं यह ट्रेन से आगरा या लखनऊ आ गए थे। वहां से बसों द्वारा यहां लाए गए हैं। यहां से यह बसों के द्वारा उनके उनके स्थान पर भेजा जा रहा है। यहां से उन्हें जो रामपुर के रहने वाले हैं, उनको उनके स्थानों पर भेजा जा रहा है। बाकी जो अन्य जिले के है उनको भी बसों द्वारा उनके जनपदों तक भेजा जा रहा है।