भाजपा ने साधा निशाना अंसारी बंधुओ पर, कहा की मोहम्दाबाद को माफिया राज से मुक्त कराना है- मुन्ना राय
शाहनवाज़ अहमद
मुहम्मदाबाद। पूर्व विधायक स्व. कृष्णानंद राय जैसा तेवर। उन्हीं की तरह जुबान और संग में वैसा ही लाव-लश्कर। खुद को कुछ ऐसे ही अंदाज में प्रस्तुत कर रहे हैं उनके भतीजे आनंद राय मुन्ना। वह मुहम्मदाबाद विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने का पूरा मन बना चुके हैं। रविवार को शेरपुर कलॉ में आयोजित अमर शहीद डॉ.शिवपूजन राय की जयंती के साथ उन्होंने अपने अभियान का आगाज भी कर दिया है। हालांकि उनके साथ भाजपा का कोई जिम्मेदार इलाकाई नेता नहीं दिख रहा लेकिन वह भाजपा की रीति-नीति की बात जरूर कर रहे हैं। खास यह भी कि कृष्णानंद के बेटे पीयूष राय उनके साथ चल रहे हैं। अब तक श्री मुन्ना वीरभानपुर, मिश्रवलिया, दोनपाह, सुखडेहरा, मुर्तजीपुर, देवरिया, खरडिहा, मसौन, ढुढ़िया आदि गांवों का दौरा कर चुके हैं। उनकी कोशिश है कि घर-घर पहुंचे। इस मौके पर वह अपनी बात रखने के लिए चाचाश्री कृष्णानंद का संदर्भ बना रहे हैं। बता रहे हैं कि कृष्णानंद ने किस तरह इस उपेक्षित इलाके को विकास की मुख्यधारा में लाने की कोशिश की थी और दस साल से उनके परिवार के किसी सदस्य ने विधानसभा में प्रतिनिधित्व नहीं किया तो यह क्षेत्र किस दुर्दशा को प्राप्त हो रहा है। इसी बहाने वह अंसारी बंधुओं पर सीधे निशाना साध रहे हैं। फिर खुद को उनके विकल्प के रूप में पेश कर रहे हैं। बता रहे हैं कि अंसारी बंधुओं को वह उसी अंदाज में और उसी स्तर से जवाब देने में सक्षम हैं जैसे उनके चाचाश्री ने दिया था। मालूम हो कि अजेय माने जाने वाले अंसारी बंधुओं को वर्ष 2002 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर कृष्णानंद राय ने पहली बार मात दी थी। उन्हें कुल 61,049 वोट मिले थे। अफजाल अंसारी के पक्ष में मात्र 53,277 वोट गिरे थे लेकिन 29 नवंबर 2005 को कृष्णानंद की हत्या हो गई। तब उप चुनाव में भाजपा ने उनकी पत्नी अलका राय को उतारा। सहानुभूति के लहर से वह विधायक चुनी गईं। फिर बारी आई वर्ष 2007 के चुनाव की। उसमें सिबगतुल्लाह अंसारी 56,361 वोट के बूते जीत दर्ज कराए। अलका राय को 52,975 वोट पर ही संतोष करना पड़ा। उसके बाद वर्ष 2012 के चुनाव में कृष्णानंद का परिवार दूर रहा लेकिन अब श्री मुन्ना के अभियान से यह लग रहा है कि यह परिवार एक बार फिर भाजपा के झंडे-डंडे के साथ अंसारी बंधुओं से दो-दो हाथ करने की पूरी तैयारी में है। परिवार को यह भी यकीन है कि भाजपा उन्हें यह मौका जरूर देगी।