गाव में चीता परिवार देखे जाने से दहशत का माहोल, वन विभाग की कार्यशैली से ग्रामीणों में रोष

चीतों के पंजे के सम्भावित निशान 

इमरान सागर 
तिलहर/शाहजहाॅपुरः-कोतवाली अन्र्तगत ग्रामीण क्षेत्र में चीता परिवार देखे जाने से कई क्षेत्रो में दहशत का माहौल है। क्षेत्र के ग्रामीणो ने आपबीती सुना कर बनविभाग के खिलाफ गहरा आक्रोष जताया तो वहीं क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों द्वारा इस ओर से आखें मुंइ लेने के चलते भी ग्रामीणो में रोष है। क्षेत्र में चीता और उसका परिवार होने के लगातार प्रमाण मिल रहे हैं।

लगभग दिन के डेढ़ बजे ग्राम नौगंवा से कोतवाली सूचना आई कि गांव में चीता घुस आया है। सूचना मिलते ही कोतवाल दयाचन्द्र शर्मा ने हल्का इन्चार्ज सुभाष कुमार तथा एस0आई0 अरूण कुमार को तत्काल घटना स्थल के लिये रबाना कर दिया। नौगंवा गावं के शिवंम कुमार ने बताया कि मै शौच के लिये खेतो में जा रहा था कि तभी ईख के खेत के पास मुझे ढ़ाई हाथ लम्बा चैड़ी लाल पटिटयों वाला चीता आपने दोनो शावको के साथ दौड़ कर दयाराम के ईख के खेत में घुस गया। इसके बाद जब ग्रामीणो से जानकारी ली गई तो उन्होने जो अपबीती सुनाई और जो दिखाया उसके बाद चीता परिवार गांव में होने के पुख्ता प्रमाण मिल गये। ग्रामीणो ने गीली मिटटी पर चीता और उसके शावको के पंजो के निशान दिखाये जिन्हे झुटलाना संभव नही था। गौर तलब है कि चीता परिवार के पौेरो के निशान गांव की आवादी से निकल कर खेतो की ओर जा रहे थे। इस दौरान वहां पर मौजूद रमासागर वृहमदेव कल्लू बनवारी आदि दर्जनो ग्रामीणो ने गांव के आसपास चीता देखे जाने की बात विश्वास के साथ कही।
पिछले सप्ताह से लगातार चीता और उसके दो शाबक देखे जाने की खबरे लगातार मिल रही है। सबसे पहले ग्राम धन्युरा में चीता और उसके दो शबको सहित परिवार ही नही देखा गया बल्कि एक गाय का बछड़ा और दो कुत्ते उनका शिकार हो निबाला बन गये। यह घटना कई लोगो की आखो ंदेखी बन गई। उनमें से एक लगभग 14 वर्षीय बालक दसवी कक्षा का छा़़त्र अवनीश मिश्रा भी था। अवनीश मिश्रा ने बताया कि मैने अपनी आखो से देखा कि ईख और परबल के खेत के किनारे किनारे चैड़ी लाल पटटीयो दार चीता और उसके साथ दो बच्चे जा रहे थें। इसी ईख के खेते से लगा हुआ रामदीन का खेत है जिसमें परबल की खेती हो रही है। रामदीन के खेते में किनारे पर एक वृृृक्ष है जिसमें उसने अपनी गाय के बछड़े को बांध रखा था जिसे चीता ईख के खेत में खीच ले गया और बाद में ईख के खेत में सिर्फ बछड़े का एक पैर ही अवशेष के रूप में मिला। यह घटना अवनीश के ब्यान वाले दिन की ही है लेकिन इनके अलावा रवि मिश्रा अनिल पन्डित रामबीर ने भी चीता और उसके दो शावक देखे जाने की बात स्वीकारी है। दोनो गांव में पहुंची बन विभाग की टीम ने ग्रामीणो की बताई जगहो पर सरसरी निगाह मार कर गांव वालो से कहा कि आप लोग अकेले न निकले रात में बच्चो और जानबरो को घरो में बन्द रखे कुछ दिन में सब कुछ सही हो जायेगा। जब ग्रामीणो ने कहा कि साहब चीता और उसके शावको को पकड़ने का बन्दोबस्त करिये एैसे हम कब तक दहशत में जियेगे तो बन कर्मियों ने कहा कि जब आठ दस दिन तक लगातार चीता दिखाई दे तो हमे बताना हम उसके पकड़ने का प्रबन्ध करेगे। बन कर्मियों की इस लापरवाही से त्रस्त ग्रामीणो ने मौके पर पहुंची मीडिया के सामने बन विभाग की कार्यशैली पर आक्रोष जताया। 

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