उच्च न्यायालय ने इमामबाड़ा में निर्माण पर लगाई रोक
आफताब फारुकी.
इलाहाबाद। इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने इमामबाड़ा गुलाम हैदर में किसी भी प्रकार के निर्माण पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने इमामबाड़ा स्थित दुकानों के स्थानान्तरण पर भी रोक लगा दी है। कहा है कि दुकानों का स्थानान्तरण मुतवल्ली या शिया वक्फ बोर्ड द्वारा न किया जाए। कोर्ट ने प्रमुख सचिव शहरी विकास से भी हलफनामा मांगा है कि किस आधार पर उन्होंने विवादित स्थल पर निर्माण की अनुमति दी है।
इमामबाड़े पर चल रहे निर्माण कार्य पर रोक लगाने के लिए जनहित याचिका पर मुख्य न्यायाधीश डी.बी.भोसले व न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा की खण्डपीठ सुनवाई कर रही है। याची के अधिवक्ता एस.एफ.ए.नकवी ने बताया कि जीरोरोड स्थित त्रिपौलिया इमामबाड़ा गुलाम हैदर में गत दिनों कुछ लोगों ने मिलीभगत कर व्यवसायिक निर्माण कार्य प्रारंभ कर दिया। अध्यक्ष वक्फ शिया बोर्ड ने निर्माण की इजाजत देते हुए नक्शा भी स्वीकृत कर दिया। स्थानीय लोगों ने इसका विरोध किया। इस पर इलाहाबाद विकास प्राधिकरण ने निर्माण पर रोक लगा दी। बाद में 1994 के शासनादेश का हवाला देकर कुछ शर्तां के साथ निर्माण की स्वीकृति दी। 1994 के शासनादेश में कहा गया कि वक्फ बोर्ड की सम्पत्ति में निर्माण के लिए एडीए की स्वीकृति जरूरी नहीं है। याचिका में 1994 के शासनादेश की वैधता तथा एडीए के आदेश को चुनौती दी गयी है।