रजिस्टर्ड व्यापारी को अनरजिस्टर्ड कारोबारी से लेन-देन की उठानी होगी जिम्मेदारी
शबाब ख़ान
वाराणसी। बनारस के कपड़ा कारोबारियों और बुनकर द्वारा जारी मुर्री बंद आंदोलन के बीच आज काशी बिस्कुट एंड कंफेक्शनरी व्यापार मंडल के बैनर तले वाणिज्यकर विभाग के अधिकारियों के साथ जीएसटी पर परिचर्चा व संगोष्ठी हुई। इसमें जीएसटी से जुड़े प्रावधानों के साथ-साथ व्यापारियों की शंकाओं का समाधान किया गया।
मुख्य अतिथि एडिशनल कमिश्नर एके गोयल तथा ज्वाइंट कमिश्नर परितोष मिश्रा, आरएन पाल व बीके शुक्ला उपस्थित रहे। उन्होंने व्यापारियों के सवालों का जवाब दिया। अध्यक्षता अजीत सिंह बग्गा व संचालन महामंत्री रमेश निरंकारी ने किया। जीएसटी से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर परिचर्चा हुई जिसमें बताया गया कि चालान बुक सिर्फ जॉब वर्क या कारखानों से माल गोदाम ले जाने तक ही सीमित होगी। साथ ही रजिस्टर्ड व्यापारी को अनरजिस्टर्ड व्यापारी से लेन-देन की सारी जिम्मेदारी उठानी होगी। इसमें मुख्य रूप से सुशील लखमानी, ओम प्रकाश गुप्ता, प्रमोद अग्रहरि, शन्नी जोहर, जय निहलानी, मनीष गुप्ता, साहिद कुरैशी, नीरज गुप्ता आदि शामिल रहे।
जरी व्यापार मंडल का एक शिष्टमंडल संरक्षक घनश्याम जायसवाल के नेतृत्व में गुरुवार को एडिशनल कमिश्नर एके गोयल से वाणिज्यकर स्थित उनके कार्यालय में मिला। उनको जरी का सैंपल दिखाया और बताया कि व्यापारी जीएसटी को लेकर असमंजस की स्थिति में हैं। एडिशनल कमिश्नर ने स्पष्ट किया कि जरी पर पांच प्रतिशत ही कर देय है। शिष्टमंडल में रामप्रकाश, ओमप्रकाश, शिवशंकर, ओमप्रकाश, अमूल्य, श्रीधर आदि शामिल रहे।