जिलाधिकारी के निर्देश पर लेखपाल के विरूद्ध होगी कार्रवाई,शिकायतकर्ता को मिलेगा ऋण मोचन योजना का लाभ
सुदेश कुमार
बहराइच 27 जून। तहसील कैसरगंज अन्तर्गत ग्राम सखौता, परगना हिसामपुर निवासी भुलावन पुत्र बासुदेव ने अपने प्रार्थना-पत्र दिनांक 31 मई 2018 द्वारा जिलाधिकारी को अवगत कराया था कि उन्होंने वर्ष 2014 में इलाहाबाद यूपी ग्रामीण बैंक की शाखा पुरैनी से किसान क्रेडिट कार्ड बनवाया था, जिसके ऋणमाफी के लिए लेखपाल शकील अहमद ने उनसे रू. 5000=00 की माॅग की गयी। पैसा न दे पाने के कारण शिकायतकर्ता को ग्राम सखौता का निवासी न होने विषयक रिपोर्ट लगाकर उन्हें ऋण मोचन योजना के लाभ से वंचित कर दिया गया।
ग्राम सखौता निवासी भुलावन के प्रार्थना-पत्र पर की गयी जाॅच में ज्वाईन्ट मजिस्ट्रेट ने पाया कि आनलाइन डेटा में आवेदक के विवरण के सम्मुख अपात्र लिखते हुए टिप्पणी में लिखा गया है कि लाभार्थी ग्राम के बाहर निवास करता है, जबकि हार्डकापी में प्रश्नगत लाभार्थी को पात्र अंकित किया गया है। स्थलीय जाॅच में आवेदक के ग्राम चकपिहानी में सपरिवार रहने व ग्राम सखौता में पैतृक आवास व खेती को देखने की पुष्टि हुई है। प्रश्नगत लेखपाल द्वारा कार्य की अधिकता का कारण बताते हुए त्रुटिवश अपात्र अंकित होना स्वीकार किया गया है, जो सम्बन्धित लेखपाल का अपने दायित्व के प्रति उदासीनता तथा लगाये गये आरोपों की पुष्टि की ओर संकेत करता है।
जिलाधिकारी माला श्रीवास्तव ने इस स्थिति का कड़ा संज्ञान लेते हुए उप जिलाधिकारी कैसरगंज को निर्देश दिया है कि जाॅच में दोषी पाये गये लेखपाल के विरूद्ध नियमानुसार कड़ी कार्यवाही सुनिश्चित करें तथा यह भी सुनिश्चित करें कि गलत फीडिंग तथा उत्तरदायी कर्मियों द्वारा अपने कार्यों को गम्भीरता व सजगता से न किये जाने के कारण कोई पात्र ऋण मोचन योजना का लाभ पाने से किसी भी दशा में वंचित न रहे। उन्होंने इसके लिए एसडीएम को अपने स्तर से परीक्षण/जाॅच व फीडिंग कार्य का सतत अनुश्रवण एवं पर्यवेक्षण करते रहने का निर्देश दिया है। इस सम्बन्ध में जिला कृषि अधिकारी को निर्देश दिया गया है कि आवेदक की पात्रता के मद्देनज़र ससमय नियमानुसार ऋण मोचन योजना से लाभान्वित कराया जाना सुनिश्चित करें।