पिट गये पत्रकार और मूकदर्शक बनी है पुलिस
समीर मिश्रा.
कानपुर. औरैया में खबर कवरेज करने गए न्यूज़ नेशन के पत्रकार अश्वनी बाजपेई और चैनल वन के पत्रकार अंजुमन तिवारी को गुंडों ने बुरी तरह से पीटा,उनके कपड़े फाड़े. उन्होंने इस पूरी घटना का वीडियो भी बनाया और उसे वायरल कर दिया लेकिन औरैया पुलिस मामले में कोई कार्यवाही नहीं कर रही है. हम इस घटना की घोर निंदा करते है और पुलिस के उच्चधिकारियो से इस प्रकरण में हस्तक्षेप करके तत्काल कड़ी कार्यवाही की मांग करते है. इस प्रकरण में जर्नलिस्ट क्लब ने भी बैठक कर घटना की कड़े शब्दों में निंदा किया है,
2 पत्रकार पिट रहे थे और शायद योगी की पुलिस सो रही थी
अगर आप खुद को पत्रकार मानते हैं. तो ये वीडियो देखने के बाद आपका खून ज़रूर उबाल मारेगा। इससे संबंधित कहानी कुछ यूं है कि बीते शनिवार को औरेया जिले के 2 युवा पत्रकारों अश्वनी बाजपेयी (न्यूज़ नेशन/न्यूज़ स्टेट), अंजुमन तिवारी (चैनल वन) को पुलिस द्वारा ट्रकों से वसूली की जानकारी मिली..खबर बनाने के दौरान उन्होंने देखा कि देवकली चौकी प्रभारी मदन गुप्ता और उनके मातहत के संरक्षण में उक्त वसूली हो रही है।
अचानक करीब आधा दर्जन गुंडे पहुंचकर दोनों पत्रकारों पर ये कहते हुए जानलेवा हमला कर देते हैं..कि और बनाओ पुलिस के खिलाफ ख़बर। हैरत है कि ये घटना देवकली पुलिस चौकी पर घटित हुई..घटना के बाद पीड़ित पत्रकार अधिकारियों के चक्कर काट रहे हैं..मुकदमा तो छोडिए, उनका मेडिकल अभी तक पुलिस ने नहीं करवाया। ऐसे में समझा जा सकता है कि छोटे जिलों के पत्रकारों का किस तरह शोषण होता है।