खबर का हुआ असर – राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग की नोटिस से मची खलबली
आफताब फारुकी
इलाहाबाद : मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज में नवप्रवेशी छात्रों के साथ रैगिंग का मामला राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग तक पहुंच चुका है। समाचार पत्रों के जरिए स्वत: संज्ञान लेते हुए आयोग ने मेडिकल कॉलेज प्रशासन को नोटिस जारी किया है और पूरे मामले की जानकारी ली है। नोटिस की सूचना पर मेडिकल कॉलेज में खलबली मच गई है।
मेडिकल कॉलेज में कई दिनों से एमबीबीएस प्रथम वर्ष के छात्रों के साथ रैगिंग की जा रही है। छात्रों के सिर मुड़वा दिए गए हैं। सभी छात्रों के शर्ट का तीसरा बटन लाल रंग का है यह भी यहां रैगिंग का पार्ट है। यह सब कुछ जानने के बाद भी कालेज प्रशासन मौन है।
रैगिंग शिकार छात्रों से सच सामने लाने में प्रशासनिक टीम विफल रही। जांच टीम के सामने छात्रों ने मुंह नहीं खोला। कई संदिग्ध चीजें टीम को मिलीं, जिन्हें कॉलेज प्रशासन ने परंपरा कहकर टरका दिया। ऐसे में डीएम ने प्राचार्य को पत्र लिखकर इस मामले में उत्तरदायित्व तय करने के लिए कहा है।
गुरुवार को एसीएम प्रथम विनय कुमार सिंह पहुंचे। एसीएम ने कई घंटे तक छात्रों से पूछताछ की। ग्रुप में पूछा और अकेले में भी बात की, लेकिन डरे हुए छात्र सच बोलने को राजी नहीं हुए। वहीं उन्होंने अपनी व्यथा मीडिया से साझा की और यह कहा कि उन्हें डर है कि जांच टीम से कुछ कहने पर उनका नुकसान हो जाएगा। जांच के बाद एसीएम ने बताया कि लड़कों के सिर पर बाल नहीं थे, सभी की एक बटन लाल थी, लेकिन किसी ने रैगिंग की बात स्वीकार नहीं की है। कॉलेज प्रशासन ने कहा कि छात्रों ने खुद से यह किया है। जांच के बाद एडीएम सिटी एके कनौजिया ने बताया कि जिलाधिकारी ने इस मामले में पत्र लिखकर प्राचार्य से जांच कराने और उत्तरदायित्व तय करने को कहा है। उनकी जांच रिपोर्ट का इंतजार किया जाएगा। पुलिस बल से लेकर एंटी रैगिंग टीम को एलर्ट किया गया है। साथ ही छात्रों को भी आश्वस्त किया गया है।