घोसी (मऊ) – नम आँखों के साथ गुजरी शाम-ए-गरीबा

रूपेंद्र भारती

घोसी /मऊ : घोसी नगर के बड़ागांव की प्रसिद्ध 10वी मोहर्रम का ताजिया का जुलूस शुक्रवार को गम व मातम के बीच शाम को राष्ट्रीय राजमार्ग स्थित सदर इमामबाड़ा पर धार्मिक रीति रिवाज के साथ समाप्त हुआ। अंत मे शामे गरीबा कार्यक्रम समाप्त हुआ। ताजिया जुलूस में 50 से अधिक ताजिये रहे।अजखाने अबुतालिब से सबिहे ताबूत इमाम हुसैन झूला का जुलूस भी रात्रि 9.30बजे निकलकर शुक्रवार की दिनमे सदर इमामबारगाह पर समाप्त हुआ।

10 वी मोहर्रम का जुलूस वृहस्पतिवार की रात्री9.30बजे बड़े फाटक से गम और सीन जनी मातम के बीच बड़ेफाटक से शुरू होकर अंजुमनों के नौहखानी के बीच प्रारम्भ होकर छोटे फाटक,नीमतले होते हुए अपने परंपरागत रास्तो से होता हुआ बड़ागांव चौक पर 4बजे भोर में पहुचा। पुनः शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद ताजिया अपने परम्परागत रास्तो से होता हुआ देर शाम राष्ट्रीय राजमार्ग स्थित सदर इमामबाड़ा पर जाकर समाप्त हुआ।

रास्ते भर अंजुमन मसुमिया कदीम, दस्ता मसुमिया,अंजुमन तंजीमुल हुसैनिया,अंजुमन मसुमिया कदीम,अंजुमन इमामिया आदि अंजुमनों के लोग रास्ते भर जंजीर व चाकू से मातम,सीनाजनी करते हुए नौहा पेश कर कर्बला के शहीदों को खेराजे अकीदत पेश किया।इसमें हिन्दू बगेदन माली का ताजिया जो तीसरे नम्बर पर चल रहा था,घोसी के गंगाजमुनी संस्कृति का संदेश दे रहा था।ताजिया दफन के बाद शामेगारीब कार्यक्रम के तहत अकीदत मंद मौन होकर अजखाने जाफरी से निकल कर इमामबाड़े पहुचकर तकरीर के बाद समाप्त हुआ।

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