करोडो का सीसीटीवी कैमरा, फिर भी चोरी हो गया 60 लाख का पेड़
अनुपम राज
वाराणसी। आँखों में काजल चुरा लेने की कहावत आपने ज़रूर सुना होगा. इस आँखों से काजल चुरा लेने की करिश्माई कारसाजी से जरा भी कमत्तर शातिराना नहीं है, बीएचयू के भैषज्योद्यान से चंदन के चार सयाने पेड चुरा लेने की घटना। सुरक्षा के नाम पर ९.५० करोड का वार्षिक भारी भरकम बजट, लगभग हजार सुरक्षा कर्मियो का घेरा, हर कदम पर बैरिकेडिग और सैकडो सीसीटीवी कैमरों की निगाहबीनी के बावजूद भी शातिर चोर सारी व्यवस्थाओ को अंगूठा दिखा गये। बीएचयू प्रशासन सांप गुजर जाने के बाद लकीर को पिटे जा रहा है।
बयांन कुछ भी हो, मगर बात अगर सुई गुम हो जाने की होती तो प्रशासन की सफाईयो पर एक बार यकीन किया भी जा सकता था। लेकिन बात यहां १८-२० फिट ऊंचे चंदन की पेड़ों की है इसलिए इसे किसी बहाने की ओट नहीं दी जा सकती। काशी हिन्दू विश्वविद्यालय चिकित्सा विज्ञान संस्थान आयुर्वेद संकाय के द्रव्यगुण विभाग परिसर और भैषज्योद्यान (मेडिसिनल प्लांट गार्डेन) से चंदन के चार पेड काटकर चोरी का मामला पकड में आया है। चोरी गये चंदन की लकडी लगभग चार क्विंटल बताई जा रही है, जिसकी बाजार में अनुमानित कीमत करीब 60 लाख रुपये आंकी गई है। चंदन चोरी की घटना से सुरक्षा की हाईफाई इंतजाम पर सवालिया निशान लग गया है।
विश्वविद्यालय के हाई सिक्योरिटी जोन में हुई लाखो की चोरी से परिसर में हडकंप मच गया है। मामले की सूचना द्रव्यगुण विभाग के अध्यक्ष प्रो के एन द्विवेदी ने प्राक्टोरियल बोर्ड को दे दी है। घटना की सूचना पाकर मौके पर पहुंचे प्राक्टोरियल बोर्ड के सुरक्षाकर्मियो ने चोरी गये चंदन की पेडो की पडताल की । चोरी गये चंदन का पेड लगभग 40 साल पुराना है। मेडिसिनल प्लांट गार्डेन में औषधीय पौधे लगाये गये हैं। इन औषधीय पौधो से चिकित्सा शिक्षा में अध्ययन अध्यापन का कार्य होने के साथ ही आयुर्वेद के फार्मेसी विभाग में औषधियो का निर्माण भी होता है। मिली जानकारी के अनुसार 2 अक्टूबर की छुट्टी के बाद जब बुधवार 3 अक्टूबर की सुबह विभाग खुला तो वहां स्टैण्ड में लगे दो चंदन की पेड को जड से काट लिया गया था, वही तीसरे पेड को भी काटने का प्रयास किया गया था। विभाग के बगल में स्थित भैषज्योद्यान से भी चंदन का दो पेड काट लिया गया था।
मजेदार बात यह है कि जहां चोरी की घटना हुई वह विश्वविद्यालय का हाई सिक्योरिटी जोन है। शाम ढलते ही मधुबन मार्ग पर बैरियर लगा दिया जाता है,जिससे उक्त मार्ग पर आवाजाही बंद हो जाती हैं। घटना स्थल से बीस मीटर की दुरी पर छात्र अधिष्ठाता चौराहे पर 24 घंटे तैनात सुरक्षाकर्मी, 200 मीटर की दूरी पर प्राक्टोरियल बोर्ड कार्यालय, 150 मीटर की दूरी पर कुलपति आवास के पास तैनात प्राक्टोरियल बोर्ड के सुरक्षाकर्मियो को चंदन की लकडी चोरी होने का भनक भी नहीं लगती है और चोर आरी से पेड काटकर चंदन की लकडी को टुकड़े टुकडे करके बंद उद्यान की दीवार लांघकर फरार हो जाते हैं। ० चोरी गये चंदन की लकडी की कीमत 60 लाख
इस बाबत द्रव्यगुण विभाग के कार्यवाहक अध्यक्ष प्रो अनिल कुमार सिंह ने बताया कि परिसर से लगभग 40 वर्ष पुरानी चार चंदन के पेड को छुट्टी की रात किसी समय चोरो ने काटकर गायब कर दिया है। चोरी गये चंदन की लकडी का वजन करीब 4 क्विंटल है, जिसकी बाजार में अनुमानित कीमत लगभग ६० लाख रुपये है। उन्होने बताया कि विभाग में यह चोरी की घटना गंभीर मामला है। इसकी सूचना प्राक्टोरियल बोर्ड को दे दी गई है।
गंभीर मामला है होगी जांच -कुलपति
संगीत एवं मंच कला संकाय में आयोजित समारोह में शिरकत करने आये कुलपति प्रो राकेश भटनागर ने पत्रकारो द्वारा चंदन की लकडी चोरी के मामले में बात की तो उन्होने कहा कि यह मामला मेरे संज्ञान में आया है। यह गंभीर मामला है। इस मामले की जांच के लिए कमेटी का गठन किया जायेगा। दोषी लोगो को किसी भी सूरत में बक्शा नहीं जायेगा।