क्या ये हैं चुनावी हुंकार , या राजनीतिक पार्टियों से हैं वॉर?
शाहरुख खान
लखनऊ। बढ़ते हुए गर्म माहौल में एक ओर राजनीतिक वॉर की हो रही हैं तैयारी। भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर ने आज चुनावी बिगुल बजा दिया हैं और सभी राजनीतिक पार्टियीं को भी सचेत कर दिया हैं कि बीएसपी पार्टी भी अभी मैदान में हैं उपस्थित और भीम आर्मी का हैं उनको पूरा सहयोग रहेगा।
कांग्रेस अगर दलितों का सम्मान करती है तो 2019 में मायावती को नेतृत्व का मौका दे:
चंद्रशेखर (भीम आर्मी के संस्थापक) भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर ने आज लखनऊ में प्रेस कांफ्रेस करते हुए कहा कि अगर कांग्रेस दलितों का सम्मान करती है तो 2019 में गठबंधन का नेतृत्व बसपा सुप्रीमो मायावती को सौंपे। भीम आर्मी उनका समर्थन करती है। साथ ही उन्होंने मायावती से किसी भी तरह की शिकायत होने से इंकार किया है।
चंद्रशेखर ने कहा वह बहुजन मूवमेंट से जुड़े हुए हैं। राजनीति चले न चले, सरकार बने न बने वह मूवमेंट नहीं रुकने देंगे। देश संविधान से चलता है जो भी संविधान के खिलाफ है वह उसके खिलाफ खड़े होंगे। संविधान का हनन होगा तो हम आंदोलन करेंगे। आगामी लोकसभा चुनाव में सपा-बसपा के संभावित गठबंधन पर उन्होंने कहा कि अगर ऐसा होगा तो भाजपा को हराने में कामयाबी मिलेगी। वहीं, शिवपाल सिंह यादव के अलग पार्टी बनाने पर उन्होंने कहा कि मेरी उनके साथ कभी मुलाकात न हुई और न ही संबंध हैं। इसलिए उनका समर्थक करने का सवाल ही नहीं।
जहाँ एक तरफ पूरे देश में आयोध्या के राम मंदिर को लेकर एक साम्प्रदयिक मुददा बना हुआ हैं इस मुददे पर भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर ने क्या कहा, चंद्रशेखर ने राममंदिर मुद्दे पर कहा कि मामला सुप्रीम कोर्ट में हैं। कोर्ट जो फैसला दे उसे मानना चाहिए। कोर्ट से बड़ा कुछ नहीं है। उन्होंने कहा कि अयोध्या में जहां मंदिर बनाने की बात की जा रही है वहां पहले बौद्घ विहार था। इसलिए मैंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से कहा कि अगर नाम ही बदलना है तो अयोध्या का नाम बदलकर साकेत कर देना चाहिए।
चंद्रशेखर ने मायावती के आरोप कि कुछ लोग बहुजन मूवमेंट को कमजोर कर रहे हैं पर कहा कि हर किसी की अपनी राय होती है। मैं मूवमेंट को कमजोर नहीं कर रहा बल्कि बहुजनों के पक्ष में आवाज उठा रहा हूं।