बोले बाबा रामदेव – साध्वी प्रज्ञा ठाकुर एक राष्ट्रवादी महिला, मात्र सन्देह के आधार पर 9 साल जेल में उनको रख प्रताड़ित किया गया
गोपाल जी
पटना: किसी दल विशेष अथवा व्यक्ति विशेष के समर्थन में आज कल सामाजिक लोग न्यायपालिका और एनआईए पर भी उंगली उठाने से पीछे नही हट रहे है। इस समय तो कुछ लोगो का बस ही नहीं चल रहा है कि किसी टीवी शो के लाईव डिबेट में सीधे हाथ उठवा कर साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को निर्दोष होने का प्रमाणपत्र दे डाले। आज ही दिल्ली में होने वाले एक खबरिया चैनल के लाइव शो में भाजपा प्रवक्ता के तौर पर खड़े नेता जी ने तो लोगो से हाथ उठवा कर इसको साबित करना भी चाहा, देखने से ऐसा प्रतीत होने लगता है कि समर्थन में इतने मशगुल और मसरूफ है कि उनका बस चले तो न्यायपालिका के नियमो को दरकिनार कर साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को खुद ही कह दे कि उनको बाइज्ज़त बरी किया जाता है।
इन सबके बीच आज यूपीए सरकार में काला धन मंगवाने की मांग करने वाले और लगातार यूपीए पर महंगाई बढाने के आरोप लगा कर खूब हो हल्ला करने वाले योग गुरु रामदेव भी जाग गए है और उन्होंने साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को क्लीन चिट दे डाली। शुक्रवार को विवादास्पद भाजपा नेता साध्वी प्रज्ञा ठाकुर के समर्थन में वह सामने आए और उन्हें एक राष्ट्रवादी करार देते हुए कहा कि महज संदेह के आधार पर उन्हें नौ सालों तक गिरफ्तार कर जेल के अंदर प्रताड़ित किया गया, जैसे वह कोई आतंकवादी हों।
वैसे बाबा रामदेव के बारे में बाते करते हुवे मुझे भी एक घटना का स्मरण आ गया जन यूपीए सरकार में बाबा रामदेव को एक टीवी पर चलने वाली अदालत में बुलाया गया था। उस शो में बाबा रामदेव ने 450 रूपये का गैस सिलेंडर होने पर सरकार को खूब कोसा था और सस्ते रसोई गैस की मांग किया था। भले ये बात और है कि एनडीए को समर्थन देने वाले बाबा सरकार बनने के बाद शांत मुद्रा में बैठे है और लगभग एक हज़ार का होने जा रहा गैस सिलेंडर शायद उनको अब सस्ता समझ आ रहा है।
बहरहाल, वो गुज़रे वक्त की बात है, हम आपको बताते चले कि वक्त के साथ कभी कभी सोच भी बदल जाती है। खैर, रामदेव ने यहां संवाददाताओं को बताया, “यह गुनाह की पराकाष्ठा थी। आपने सिर्फ संदेह के आधार पर एक शख्स को गिरफ्तार कर लिया और नौ सालों तक उसे शारीरिक व मानसिक प्रताड़ना दी। उन्हें जिस तनाव से गुजरना पड़ा उससे वह शारीरिक रूप से कमजोर और कैंसर से प्रभावित हो गईं। वह आतंकवादी नहीं बल्कि राष्ट्रवादी महिला हैं।”