किसान आन्दोलन – बोले किसान नेता राकेश सिंह टिकैत, बातचीत से हल नही निकला तो बंजर दिल्ली को हल से जोत देंगे
तारिक खान
नई दिल्ली। केंद्र सरकार के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन 23वें दिन में प्रवेश कर गया है। यूपी गेट पर 22वें दिन भी किसान डटे रहे। राकेश टिकैत ने कहा कि अब हल क्रांति होगी। हल से निकलेगा हल, बातचीत से हल नहीं निकल सका तो बंजर दिल्ली को हल से जोत देंगे।
उन्होंने कहा कि कृषि कानून वापस लेने और एमएसपी पर खरीद गारंटी की मांग पर किसान डटे रहेंगे, अगर सरकार स्वामीनाथन की रिपोर्ट को भी लागू कर दे तो यह और अच्छी बात होगी। हालांकि स्वामीनाथन की रिपोर्ट को लागू करने का सरकार का दावा सरासर झूठा है। आज प्रधानमंत्री मोदी द्वारा किसानो से हुवे संवाद अपर किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि पीएम की अधिकतर बातों को झूठ बताया और कहा कि सरकार कृषि क्षेत्र का भी निजीकरण करना चाहती है,
A humbling day, to see the grit, resolve and determination of protesting farmers and the elderly at #SinghuBorder #FarmersProtests pic.twitter.com/WIGg6bdqkF
— Swara Bhasker (@ReallySwara) December 17, 2020
सीपीआई के महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा है कि कृषि क्षेत्र में सुधार की जरूरत है। हमने मैनिफेस्टो में जो बातें रखी हैं उसको सरकार ने लागू नहीं किया। सैकड़ों किसान यहां पर बैठे हैं, क्या वे नहीं समझते उनकी भलाई में क्या है? कृषि कानूनों को वापिस लीजिए। ये कानून किसान का साथ नहीं देते हैं।
इस दरमियान आज बॉलीवुड अभिनेत्री स्वरा भास्कर कृषि कानूनों के खिलाफ सिंघु बॉर्डर पर चल रहे किसानों के प्रदर्शन में शामिल हुईं। उन्होंने अपनी कुछ फोटो ट्विटर पर शेयर की हैं। साथ ही अपने पोस्ट में उन्होंने लिखा, ‘एक नम्रता देने वाला दिन, प्रदर्शनकारी किसानों और बुजुर्गों का धैर्य, संकल्प और दृढ़ता देखने के लिए।’
वही, कल 20 दिसंबंर को किसान श्रधांजलि दिवास पुरे देश में मनाने वाले है। सर्द अँधेरी रातो में सर्दियों से जूझते किसान सिंघु बॉर्डर पर डट कर आन्दोलन कर रहे है। सिंघु बॉर्डर एक छोटे शहर की तरह बस चूका है। जहा कई किलोमीटर तक आन्दोलनरत किसानो की सिर्फ गाडिया ही दिखाई दे रही है।