जन सहयोग संस्थान के नेतृत्व में समाजसेवी विवेक मौर्य ने गरीब बच्चों के बीच मनाया अपना जन्मदिन, बांटी स्टेशनरी व खाद्य सामग्री
शाहीन बनारसी
चन्दौली। आज के फैशनयुग व दिखावे की ओर लालायित रहने वाले फिजूलखर्ची वाले समय में लोग अपना जन्मदिन या अन्य खुशी का पल सेलिब्रेट करने के लिए बड़ी बड़ी पार्टियां देते हैं जिनमें पैसों से संपन्न वर्ग के लोग ही शामिल होते हैं। इन कार्यक्रमों में गरीब लोगों व बच्चों का कोई स्थान नहीं होता। लेकिन इस फैशनेबल व फिजूलखर्ची के युग में अगर कोई व्यक्ति अपना जन्मदिन ऐसे गरीब बच्चों को अपना जन्मदिन मनाए तो लोग सोचेंगे कि ये तो सिर्फ फिल्मों में दिखाते हैं।
असल जिंदगी में कौन ऐसे मानवीय व प्रशंसनीय कार्य करता है? तो हम कहेंगे कि ऐसे लोग असल जिंदगी में भी होते हैं जिसका प्रत्यक्ष उदाहरण जनपद के युवा समाजसेवी विवेक मौर्य है जिन्होंने अपना जन्मदिन ग्राम मधुबन में बरफोरबस्ती में आर्थिक रूप से कमजोर, गरीब आदिवासी समाज के बच्चों के बीच जाकर मनाया और बच्चों में स्लेट, पेंसिल, चाक, किताबे, मिठाईयां, नमकीन वितरित कर जन्मदिन की खुशियां साझा की।
इस अवसर पर जन सहयोग संस्थान के अध्यक्ष अजित कुमार सोनी ने कहा इन बच्चों के चेहरे पर खुशीया मेरे इस जीवन के लिए किसी भी पुरस्कार से कम नही। सोनी ने सभी बच्चों को शिक्षित करने की जिम्मेदारी ली और भदलपुरा,प्रीतमपुर,डाक बंगला चन्दौली के अलावा आज मधुबन के उसरा गांव में जन चौपाल की शुरुआत की। सोनी ने बताया कि संस्था द्वारा जनपद में विभिन्न जगहों पर गरीब बच्चों की शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए जगह जगह पर जनचौपाल लगाकर बच्चों को पढ़ाया जाता है।
विवेक मौर्या ने कहा कि जब ईश्वर हमें मनुष्य का जन्म दिया तब ही उसने हमें इस लायक बना दिया और इस जीवन को लोगों की मदद में लगाना चाहिए। मदद न करने के लिए बहाने तो लाखों मिल जाते हैं परंतु एक बार किसी की मदद कर जो सुकून मिलता है। वह तमाम ऐशो-आराम आपको नहीं दे सकते। जीवन में हमें जब भी कुछ अच्छा करने को मौका मिला तो अपने जीवन का वह हर एक मूल्यवान समय ऐसे ही सामाजिक कार्यो में समर्पित करता रहा हूँ।