बिहार सरकार द्वारा छुट्टियों के आदेश को गिरिराज ने बताया ‘तुगलकी फरमान’
अनिल कुमार
डेस्क: बिहार में स्कूलों की छुट्टियों में कटौती का सरकारी आदेश विवादों में आ गया है। शिक्षा विभाग ने साल 2024 के लिए सरकारी स्कूलों में छुट्टियों की जो सूची जारी की है उसमें कई त्यौहारों पर छुट्टियों को रद्द कर दिया गया है। सरकारी आदेश के मुताबिक़ स्कूलों में मकर संक्रांति, रक्षाबंधन, भाई दूज, जितिया और हरितालिका तीज जैसे त्योहारों पर छुट्टी नहीं होगी।
VIDEO | "This is for the third time that the Nitish government has issued 'Tughlaqi' order. Nitish Kumar will have to face consequences in upcoming elections if fails to take back this decision. In future, they will be known as Mohammad Lalu Yadav, Mohammad Nitish Kumar," says… pic.twitter.com/hJhoWv6cTc
— Press Trust of India (@PTI_News) November 28, 2023
शिक्षा विभाग के मुताबिक़, साल में कम से कम 220 दिन स्कूल खुले रहेंइसके लिहाज से छुट्टियों की सूची तैयार की गई है। बिहार में छुट्टियों के इस कैलेंडर पर सियासत भी तेज़ हो गई है। केंद्रीय मंत्री और बेगूसराय से सांसद ने इस बदले हुए कैलेंडर को नीतीश कुमार सरकार का ‘तुगलकी फरमान’ बताया है।
उन्होंने कहा- “ हिंदुओं के महापर्व शिवरात्रि, जन्माष्टमी पर छुट्टियां काट दी गई हैं और ईद और बकरीद जैसे मुसलमानों के त्योहार पर भी छुट्टियां बढ़ा दी गई हैं। इससे साफ़ ज़ाहिर होता है बिहार सरकार इस्लामिक धर्म के आधार पर काम कर रही है। इसी कारण से अररिया, पूर्णियां और कटिहार के स्कूलों में शुक्रवार को छुट्टी दी जा रही है। ऐसा लगता है कि ये सरकार शुक्रवार को इस्लामिक छुट्टी की योजना बना रही है। अगर उन्होंने ये छुट्टियां बहाल नहीं की तो इसका नतीजा उन्हें भुगतना होगा।”
हिन्दूओं के पर्व, त्यौहारों की छुट्टियों को रद्द करना हिन्दू विरोधी मानसिकता का परिचायक। pic.twitter.com/bxNJxp6fqe
— Sushil Kumar Modi (@SushilModi) November 28, 2023
बीजेपी सांसद सुशील कुमार मोदी ने आरोप लगाया है कि बिहार सरकार ने हिन्दुओं की भावनाओं के खिलाफ़ फ़ैसला किया है। सुशील मोदी ने आरोप लगाया है, “हिन्दुओं के पर्व त्योहार चाहे वो रामनवमी हो, जन्माष्टमी हो, रक्षा बंधन हो, उन सारे पर्व त्योहारों की छुट्टियों को रद्द कर दिया है और दिवाली, छठ और दुर्गा पूजा की छुट्टियों में कटौती कर दी है। इतना ही नहीं मुसलमानों के त्योहारों की छुट्टियों को बढ़ा दिया है।”
यही नहीं बिहार बीजेपी ने छुट्टियों के कैलेंडर के जुड़ी एक ख़बर को सोशल मीडिया ‘एक्स’ पर ‘इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ़ बिहार’ बताकर पोस्ट किया है। स्कूलों में छुट्टियों को लेकर चल रहे इस विवाद पर जेडीयू के प्रवक्ता नीरज कुमार का कहना है कि बीजेपी इस मामले पर दुष्प्रचार कर रही है। नीरज कुमार ने कहा, “बसंत पंचमी और शिवरात्रि की छुट्टी ख़त्म नहीं हुई है और दशहरे की छुट्टी एक दिन बढ़ा दी गई है। यह भी सही है कि अल्पसंख्यकों की छुट्टी बढ़ा दी गई है। हालांकि शब ए बारात की छुट्टी घटा दी गई है।”
नीरज कुमार का कहना है कि शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत साल में 220 दिन स्कूल खुले होने चाहिए. इस तरह पहले भी सालभर में 60 छुट्टियां थीं और अब भी 60 छुट्टियां रखी गई हैं। इसका समायोजन कैसे हो शिक्षा विभाग इसपर फिर से विचार करे। इससे पहले भी शिक्षा विभाग ने इस साल यानी साल 2023 के लिए सितंबर से दिसंबर महीने के दौरान स्कूलों की छुट्टियों में बदलाव किए थे, जिसका काफ़ी विरोध हुआ था। इस विरोध के बाद सरकार ने शिक्षा विभाग के फ़ैसले को वापस करने का आदेश दिया था। माना जा रहा है कि छुट्टियों में इस नए बदलाव के बाद सरकार फिर से इसमें दख़ल दे सकती है।