बीजेपी और जेजेपी के बीच बढ़ी दूरियों के बाद हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर ने दिया इस्तीफा, नायब सैनी होंगे नए सीएम, जाने इस्तीफे के पीछे क्या रही वजह
तारिक खान
डेस्क: बीजेपी और जेजेपी के बीच बढती दूरियों के बीच मनोहर लाल खट्टर ने हरियाणा के सीएम पद से अपनी पूरी कैबिनेट के साथ इस्तीफा दे दिया है। हरियाणा के संसदीय कार्य मंत्री चौधरी कंवर पाल ने कहा है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने पूरी कैबिनेट के साथ मुख्यमंत्री पद से इस्तीफ़ा दे दिया है।
वही मिल रही जानकारी के अनुसार नए सीएम के तौर पर नायब सैनी शपथ लेंगे। कंवर पाल ने मंगलवार को मीडिया से बात करते हुए कहा कि राज्यपाल बंडारू दतात्रेय ने इस्तीफ़ा स्वीकार कर लिया है। जब कंवर पाल से पत्रकारों ने पूछा कि अब मुख्यमंत्री कौन बनेगा तो उन्होंने कहा कि सीएम साहब ही सीएम रहेंगे।
हरियाणा में बीजेपी और दुष्यंत चौटाला की जननायक जनता पार्टी ने मिलकर सरकार बनाई थी। दुष्यंत चौटाला हरियाणा के डिप्टी सीएम बने थे। जेजेपी और बीजेपी के बीच गठबंधन टूटने की बात कही जा रही है। इसके बाद ही मुख्यमंत्री ने इस्तीफ़ा देने का फ़ैसला किया। कांग्रेस नेता और हरियाणा के नेता प्रतिपक्ष भूपिंदर सिंह हुड्डा ने बीजेपी और जेजेपी के गठबंधन को स्वार्थ के लिए बनाया गठजोड़ कहा है।
हुड्डा ने प्रेस कॉन्फ़्रेंस में कहा, ‘एक और समझौता हो गया हरियाणा में। पहले 2019 में जब ये सरकार बनी थी तब स्वार्थ में ये (बीजेपी-जेजेपी) यार बन गए थे। अब एक और समझौता हो गया गठबंधन अलग करने का।’ हरियाणा विधानसभा में कुल 90 सीटें हैं। इनमें से 41 विधायक बीजेपी के हैं और 10 जेजेपी के विधायक हैं। बीजेपी दावा कर रही है कि उसे पाँच निर्दलीय विधायकों का समर्थन हासिल है। समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, बीजेपी और दुष्यंत चौटाला की जेजेपी हरियाणा में लोकसभा चुनाव स्वतंत्र रूप से लड़ेगी।
हरियाणा लोकहित पार्टी के अध्यक्ष गोपाल कांडा ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, ‘मेरे ख़्याल से गठबंधन लगभग टूट गया है। लोकसभा चुनावों में बीजेपी हरियाणा की 10 की 10 सीटें जीतेगी। बीजेपी के लिए कोई संकट नहीं है। मैंने पहले भी कहा है कि सभी निर्दलीय विधायकों का बीजेपी को समर्थन है। हम साढ़े चार साल से बीजेपी के साथ खड़े हैं और आगे भी रहेंगे।’
कांग्रेस नेता दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा, ‘अभी जब पूरा घटनाक्रम हो जाएगा, तब उस पर विस्तार से बात करेंगे। मगर अभी हरियाणा में जो हो रहा है, वो हरियाणा की जनभावना के दबाव में हो रहा है। हरियाणा की जनता ने परिवर्तन का मन बना लिया है। हरियाणा का जन-जन नाराज़ है, निराश है। हरियाणा में ये सब इसी के दबाव में हो रहा है।’ निर्दलीय विधायक नयन पाल रावत ने 12 मार्च को दावा किया है कि गठबंधन किसी भी वक़्त टूट सकता है लेकिन कुछ निर्दलीय विधायक खट्टर के साथ हैं।
रावत कहते हैं, ‘मैं कल मुख्यमंत्री से मिला था। हमने पहले ही सीएम मनोहर लाल सरकार को अपना समर्थन दे दिया है। हमने लोकसभा चुनावों के लिए रणनीति पर भी बात की। मुझे ये समझ आया कि जेजेपी के साथ गठबंधन तोड़ने की शुरुआत हो चुकी है।’ रावत पृथला सीट से हरियाणा विधानसभा चुनाव में जीते थे। एक और निर्दलीय विधायक धर्मपाल गोंडर ने कहा कि निर्दलीय विधायक बीजेपी सरकार का समर्थन कर रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स में कहा जा रहा है कि जेजेपी ने दिल्ली में बैठक बुलाई है और ये बैठक दुष्यंत चौटाला के आवास पर होगी। 10 मार्च को बीजेपी के पूर्व सांसद बृजेंद्र सिंह ने पार्टी से इस्तीफ़ा देकर कांग्रेस का हाथ थामा था।