ब्रिटिश अख़बार “फाइनेंशियल टाइम्स” की रिपोर्ट में दावा ‘अडानी ने घटिया किस्म का कोयला सरकारी कंपनियों को स्वच्छ ईधन के दाम पर बेचा,’ कांग्रेस हुई हमलावर, बोले राहुल गाँधी ‘जनता के एक एक रूपये का लेंगे हिसाब’

ईदुल अमीन

डेस्क: ब्रिटिश अखबार ‘फाइनेंशियल टाइम्स’ ने कुछ दस्तावेजों का हवाला देकर एक खबर प्रकाशित की है। इसने खलबली मचा दी है। इसमें दावा किया गया है कि अडानी ग्रुप ने सार्वजनिक क्षेत्र की ‘तमिलनाडु जेनरेशन एंड डिस्ट्रीब्यूशन कॉरपोरेशन’ (टीएएनजीईडीसीओ) को कम गुणवत्ता वाला कोयला कहीं अधिक कीमत पर स्वच्छ ईंधन के नाम पर बेचा।

ब्रितानी अखबार फाइनेंशियल टाइम्‍स की रिपोर्ट के मुताबिक, अडानी ग्रुप सरकारी बिजली कंपनी के साथ लेनदेन के दौरान घटिया किस्म के कोयले को कहीं ज्‍यादा महंगे स्वच्छ ईंधन के तौर पर बेचने में शामिल था। अखबार ने दावा किया उसकी रिपोर्ट साक्ष्यों पर आधारित है जो लंबे समय से चल रहे कोयला घोटाले के आरोपों पर नई रोशनी डालती है।

रिपोर्ट कहती है कि ऑर्गनाइज्‍ड क्राइम एंड करप्‍शन रिपोर्टिंग प्रोजेक्‍ट (OCCRP) ने दस्‍तावेजों को सुरक्षित रखा है। फाइनेंशियल टाइम्‍स ने इन दस्‍तावेजों की समीक्षा की है। ब्रितानी अखबार ने कहा है कि भारतीय समूह से जुड़े भ्रष्टाचार के आरोप संभावित पर्यावरणीय आयाम जोड़ते हैं। दस्तावेजों से पता चलता है कि मुमकिन है क‍ि अडानी ग्रुप ने एयर क्‍वालिटी की कीमत पर धोखाधड़ी से बंपर मुनाफा कमाया हो। ऐसा इसलिए है क्योंकि बिजली के लिए निम्न-श्रेणी के कोयले का इस्‍तेमाल करने का मतलब है कि ईंधन का अधिक उपयोग होना।

फाइनेंशियल टाइम्‍स की रिपोर्ट कहती है कि इनवॉयस से पता चलता है कि जनवरी 2014 में अडानी ग्रुप ने इंडोनेशियाई कोयले की एक खेप खरीदी थी। इसमें प्रति किलोग्राम 3,500 कैलोरी होने की सूचना दी गई थी। इस खेप को फिर तमिलनाडु जनरेशन एंड डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी (टीएएनजीईडीसीओ) को 6,000 कैलोरी वाले कोयले के रूप में बेचा गया। इसे सबसे मूल्यवान ग्रेड में से एक माना जाता है। रिपोर्ट में संदेह जताया गया है कि ऐसा लगता है कि परिवहन लागत को ध्यान में रखते हुए अडानी ने शुरुआती निवेश से दोगुना से भी अधिक पैसा कमाया है।

रिपोर्ट कहती है कि भारत में हर साल 20 लाख से ज्‍यादा लोग आउटडोर एयर पलूशन के कारण मरते हैं। यह जानकारी द लैंसेट में प्रकाशित 2022 के एक अध्ययन पर आधारित है। इसके अलावा अन्य अध्ययनों से पता चला है कि कोयले से चलने वाले बिजली संयंत्रों के बड़े दायरे में बाल मृत्यु दर में उल्लेखनीय बढ़ोतरी हुई है।

चुनावी माहौल में इस पूरे मामले ने तूल पकड़ लिया है। इस पर कांग्रेस आक्रामक हो गई है। पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने इसे घोटाला करार देते हुए बीजेपी सरकार पर निशाना साधा है। उन्‍होंने कहा है कि ‘इस घोटाले’ के जरिये ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रिय मित्र’ ने कम गुणवत्ता वाले कोयले को तीन गुने दाम पर बेचकर हजारों करोड़ रुपये लूटे हैं। इसकी कीमत आम जनता ने बिजली का महंगा बिल भरकर अपनी जेब से चुकाई है।

राहुल गांधी ने कहा है, ‘भाजपा सरकार में भीषण कोयला घोटाला सामने आया है। वर्षों से चल रहे इस घोटाले के ज़रिए मोदी जी के प्रिय मित्र अडानी ने लो-ग्रेड कोयले को तीन गुने दाम पर बेच कर हज़ारों करोड़ रुपए लूटे हैं, जिसकी कीमत आम जनता ने बिजली का महंगा बिल भर कर अपनी जेब से चुकाई है।’ राहुल ने सवाल पूछा है, ‘क्या प्रधानमंत्री बताएंगे इस खुले भ्रष्टाचार पर ईडी, सीबीआई और आईटी को शांत रखने के लिए कितने टेंपो लगे? 4 जून के बाद इंडिया की सरकार इस महाघोटाले की जांच कर जनता से लूटी गई पाई-पाई का हिसाब करेगी।’

फाइनेंशियल टाइम्स की रिपोर्ट को रिपोस्ट करते हुए महुआ मोइत्रा ने ट्वीट किया है, ‘धोखेबाज अडानी समूह ने कम गुणवत्ता वाले 3500 कैलोरी प्रति किलोग्राम इंडोनेशियाई कोयले को भारत सरकार की बिजली कंपनियों को उच्च गुणवत्ता वाले 6000 कैलोरी प्रति किलोग्राम के रूप में बेचकर मुनाफा दोगुना कर लिया। उपभोक्ताओं और पर्यावरण के साथ धोखाधड़ी। नरेंद्र मोदी, कृपया मेरी साड़ियां गिनने और मेरे दोस्तों को बुलाने के बाद सीबीआई और ईडी को इसकी जांच करने के लिए कहें।’

इस पर राहुल गांधी ने वीडियो बयान जारी किया था। उसमें उन्होंने सीधे पीएम को संबोधित करते हुए कहा था, ‘नमस्कार मोदी जी, थोड़ा-सा घबरा गए क्या! नॉर्मली, आप बंद कमरों में अडानी जी, अंबानी जी की बात करते हो, लेकिन पहली बार पब्लिक में अडानी-अंबानी बोला।’ उन्होंने आगे कहा, ‘आपको ये भी मालूम है कि टेंपो में पैसा देते हैं। क्या यह आपका पर्सनल एक्सपीरिएंस है? एक काम कीजिए। सीबीआई-ईडी को इनके पास भेजिए न। पूरी जानकारी लीजिए, इन्क्वायरी कराइए। जल्दी से जल्दी कराइए। घबराइए मत मोदी जी।’

राहुल ने कहा था, ‘ मैं फिर से दोहराकर कह रहा हूँ। जितना पैसा नरेंद्र मोदी जी ने इनको दिया है न, उतना ही पैसा हम हिंदुस्तान के ग़रीब लोगों को देने जा रहे हैं। महालक्ष्मी योजना, पहली नौकरी पक्की योजना, इन योजनाओं के माध्यम से। करोड़ों लाखपति बनाएँगे हम। इन्होंने 22 अरबपति बनाए हैं, हम करोड़ों लाखपति बनाएँगे।’

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