हिमांचल: नाहन शहर में कथित गौकशी के आरोप में भीड़ द्वारा सांप्रदायिक नारे लगाते हुवे जिस जावेद की दूकान में तोड़ फोड़ किया, उस पर गौकशी का आरोप निकला फर्जी, जावेद ने किया था परमिट वाले पशु की कुर्बानी

मो0 कुमेल

डेस्क: हिमाचल प्रदेश के नाहन शहर में बुधवार, 19 जून को भीड़ ने कुछ गारमेंट्स के दुकानों का सामान थाना तोड़ कर बहार फेक दिया था, भीड़ का आरोप था कि दुकानदार जावेद ने प्रतिबाधित पशु की कुर्बानी देते हुवे तस्वीर अपने व्हाट्सअप स्टेटस पर लगाया था। वही अब पुलिस जाँच में यह साबित हुआ है कि जावेद पर लगा प्रतिबंधित जानवर की कुर्बानी का आरोप झूठा है।

बताते चले कि 19 जून को नाहन शहर का माहौल सांप्रदायिक रूप से तनावपूर्ण हो गया। सम्प्रदायिक नारे लगाती सैकड़ों की भीड़ सिरमौर जिले के नाहन शहर में मौजूद कुछ गारमेंट्स की दुकानों में तोड़-फोड़ कर रही थी, सामान निकालकर बाहर सड़क पर फेंक रही थी। उस भीड़ में पुलिसकर्मी भी मौजूद थे जो खड़े-खड़े सब कुछ सिर्फ देख रहे थे। भीड़ का आरोप था कि दुकानदार जावेद ने प्रतिबंधित पशु की कुर्बानी किया है।

भीड़ आरोप लगा रही थी कि इन मुस्लिम व्यापारियों में से एक, जावेद ने बकरीद के दिन गोकशी की और उसकी तस्वीरें अपने व्हाट्सऐप स्टेट्स पर शेयर कीं। इस दक्षिणपंथी भीड़ ने जावेद के साथ ही उस इलाके में मौजूद बाहरी राज्यों से आए अन्य 6 मुस्लिम व्यापारियों को भी अपनी-अपनी दुकान खाली करने के लिए भी 24 घंटे का अल्टीमेटम दे दिया। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में भीड़ ‘जय श्री राम’ और ‘देश के गद्दोरों को गोली मारो *** को’ जैसे नारे लगाती नजर आई। भीड़ ने पुलिस के सामने कम से कम दो दुकानों के सामान (गारमेंट की दुकान के कपड़े) को सड़क पर फेंक दिया।

सोशल मीडिया से लेकर नाहत की सड़कों पर, जावेद की गिरफ्तारी की मांगों के बीच शामली पुलिस ने 22 जून को बड़ा अपडेट दिया। शामली के पुलिस अधीक्षक अभिषेक झा ने कहा कि अभी तक के जांच में यह बात सामने आई है कि कुर्बानी किसी प्रतिबंधित जानवर की नहीं बल्कि परमिट वाले जानवर की दी गई है, यानी जिसकी कुर्बानी गैरकानूनी नहीं है।  FIR के अनुसार जावेद पर IPC की धारा 153 (A) और 505 (2) के तहत मामला दर्ज किया गया है। FIR में आरोप लगाया गया है कि जावेद अपने व्हाट्सऐप स्टेट्स में हाथ में छूरा लेकर एक पशु को काटते देखा गया, जिससे धार्मिक सौहार्द बिगाड़ने का प्रयास किया गया। जनता में आक्रोश है।

सिरमौर के पुलिस अधिक्षक रमन कुमार मीणा ने मीडिया में जारी बयान में 20 जून को कहा था कि जावेद पर IPC की धारा 295A (किसी की धार्मिक भावनाओं को आहत करने के इरादे से जानबूझकर और दुर्भावनापूर्ण कार्य) के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है और उसकी गिरफ्तारी का प्रयास किया जा रहा है। साथ ही तोड़-फोड़ करने वाली भीड़ पर एक्शन लेते हुए उनपर IPC की धारा 147, 149 और 509 के तहत एफआईआर दर्ज की गई है।

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