लखनऊ गोमती नगर में बारिश के दरमियान बाइक से जा रही युवती से अभद्रता के वायरल वीडियो में पुलिस ने अब तक किया 16 को गिरफ्तार, 6 बाइक भी हुई बरामद
तारिक़ खान
डेस्क: लखनऊ के गोमती नगर इलाके में बुधवार को भारी बारिश के बीच एक बाइक सवार युवक और उसके पीछे बैठी महिला के साथ बदसलूकी के आरोप में पुलिस ने अब तक कुल 16 लोगों को ग़िरफ़्तार कर लिया है। इस पूरे मामले का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। इसके बाद उत्तर प्रदेश सरकार और पुलिस पर क़ानून व्यवस्था को लेकर लगातार सवाल उठ रहे थे।
पकडे गए आरोपियों में पवन यादव, सुनील कुमार, विराज साहू, अर्जुन अग्रहरी, अरबाज़,रतन गुप्ता, अमन गुप्ता, अनिल कुमार, प्रियांशु शर्मा, आशीष सिंह, विकास भंडारी, मनोज कुमार, अभिषेक तिवारी, कृष्णा कान्त गुप्ता, जय किशन, अभिषेक साहू है। पुलिस ने 6 बाइक भी बरामद किया है। इस क्रम में स्थानीय पुलिस चौके से लेकर थाना स्तर तक कड़ी कार्यवाही हुई है और चौकी इंचार्ज से लेकर थाना प्रभारी तक निलंबित हुवे है। वही एसीपी, डीसीपी, एडीसीपी का स्थानान्तरण हुआ है।
साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ग़िरफ़्तार अभियुक्तों में से सिर्फ़ दो का नाम लेने पर भी विपक्ष ने सवाल उठाए हैं और आरोप लगाया है कि सीएम इस मामले पर भी राजनीति कर रहे हैं। बुधवार को लखनऊ में कई घंटो बारिश की वजह से कई जगह जलभराव हो गया था। ताज होटल के पास ब्रिज के क़रीब दर्जन भर लोग पानी में मौज मस्ती कर रहे थे। वायरल हुए इस वीडियो में देखा जा सकता है कि इसी दौरान बाइक सवार एक पुरुष और महिला वहां से गुज़र रहे थे। वहां मौजूद बाक़ी युवकों में से कुछ ने इन पर पानी फेंका और फिर बाइक को नीचे गिरा दिया।
ये वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया जिसके बाद पुलिस हरकत में आई और रात में ही कई लोगों को चिन्हित करके ग़िरफ़्तार किया गया। ये मामला विधानसभा में कांग्रेस की नेता आराधना मिश्रा मोना ने उठाया जिसको लेकर योगी सरकार ने कहा कि अपराधियों के साथ कोई रियायत नहीं बरती जा रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में कहा कि, ‘प्रदेश की गोमती नगर की घटना पर हम लोगों ने जवाबदेही तय की है। पहला आरोपी पवन यादव और दूसरा मोहम्मद अरबाज़ है। ये सद्भावना वाले लोग हैं इनके लिए सद्भावना ट्रेन नहीं बुलेट ट्रेन चलेगी। इस घटना को हमने गंभीरता से लिया है पूरी चौकी को सस्पेंड किया है। इनके ख़िलाफ भी कार्रवाई करेंगे।’
इस मामले पर विपक्षी समाजवादी पार्टी ने कड़ा रुख़ अपनाया है। पार्टी के प्रवक्ता फख़रुल हसन ने कहा, ‘अपराध को उसके नज़र से ही देखना चाहिए ना कि धर्म और जाति के हिसाब से। मुख्यमंत्री ने दो अभियुक्तों के नाम बताए लेकिन बाक़ी नाम नहीं बताए। समाजवादी पार्टी का रुख है कि अपराध अगर किसी ने किया है तो चाहे वो जिस तबके का हो उसके ख़िलाफ़ सख़्त कार्रवाई होनी चाहिए।’ सपा सांसद डिंपल यादव ने भी इस मामले पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, ‘सरकार को कार्रवाई करनी चाहिए। वीडियो रिकॉर्डिंग है, ऐसे में सरकार बहुत आसानी से चिह्नित कर सकती है कि कौन ऐसा कर रहे थे।’