घोसी के प्राइवेट स्कूलों पर सीएम योगी का फरमान बेअसर

सुहैल अख्तर 
घोसी (मऊ) स्थानीय नगर स्थित संत नार्बट  स्कूल, धरौली, घोसी में प्रवेश हेतु कक्षा में रिक्त सीटों को प्रदर्शित नहीं किया जा रहा है। प्रवेश परीक्षा के नाम पर फार्म की फोटो कॉपी को 400-400.रूपये में बेचा जा रहा है एवं प्रवेश परीक्षा के बाद छात्रों को स्थिति से भी अवगत नहीं कराया जा रहा है। प्रवेश परीक्षा के नाम पर धन उगाही हो रही है।

प्रवेश परीक्षा में सम्मिलित कक्षा 9 हेतु छात्रा स्वीकृति सिंह का परिणाम जानने, जब पिता विद्यालय पहुँचें तो बताया गया कि छात्रा फेल है, पिता के द्वारा परिणाम के अंक जानने हेतु प्रिसिंपल द्वारा साफ इंकार किया गया। जब मिलने का समय मांगा गया तो मिलने से भी साफ इंकार किया गया।
 वहीं अन्य अभिभावकगण भी मौजूद थे। जो कि विद्यालय एवं छात्रों की समस्याओं हेतु प्रिसिंपल को अवगत कराना चाहते थे। लेकिन प्रिंसिपल महोदय नहीं मिले। प्रिसिंपल महोदय ने हिटलरशाही जैसी प्रवृत्ति अपना रखी है। अभिभावकों ने बताया कि विद्यालय में भोजनावकाश मात्र 10 मिनट का होता है। जिसमें छात्र – छात्राओं का भोजन करना मुश्किल हो जाता है तथा शौचालाय में लम्बी लम्बी लाईन लगी रहती है।समय समाप्त होते ही बच्चे बिना निवृत्ति के ही कक्षा में वापस चले जाते हैं। लम्बी अवधि तक पिशाब रोके रहने के कारण रास्ते अथवा बस में भी कभी कभी पिशाब कर देते हैं। लेकिन प्रिंसिपल महोदय समस्याओं का निराकरण करना तो दूर….  अभिभावकों से मिलने से भी इंकार कर देते हैं। जो कि मुख्यमंत्री जी की शिक्षा के प्रति लगन एवं राज्य सरकार की शिक्षा के सुधार हेतु कदम और छवि दोनों धुमिल कर रहे हैं। करना तो दूर….  अभिभावकों से मिलने से भी इंकार कर देते हैं। जो कि मुख्यमंत्री जी की शिक्षा के प्रति लगन एवं राज्य सरकार की शिक्षा के सुधार हेतु कदम और छवि दोनों धुमिल कर रहे हैं।

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