जब इस्राईल का उच्च स्तरीय शिष्टमंडल बेन गोरियन एयरपोर्ट पर हथियारों के गुप्त समझौते की फ़ाइल भूल गया
आदिल अहमद
: ज़ायोनी अख़बार हआरेत्ज़ के अनुसार, इस्राईल के उच्च पदस्थ सुरक्षा अधिकारियों का एक शिष्टमंडल उस समय बेन गोरियन एयरपोर्ट पर हथियारों के गुप्त समझौते के काग़ज़ात भूल गया जब वह जहां उच्च सैन्य अधिकारियों के साथ बातचीत का कार्यक्रम था।
इस ज़ायोनी शिष्टमंडल के सदस्यों ने कि जिसकी अगुवाई ज़ायोनी शासन के सुरक्षा सलाहकार मियर बिन शाबात कर रहे थे, जनवरी me जाते समय बेन गोरियन एयरपोर्ट पर एक रेस्त्रां में खाना खाया था। उसी समय शिष्टमंडल में शामिल एक अधिकारी से रेस्त्रां में वह फ़ाइल छूट गयी जिसमें बड़े सैन्य राज़ मौजूद थे।
इस रिपोर्ट के अनुसार, रेस्त्रां के एक वेटर को जिस समय ये काग़ज़ात मिले उस समय ज़ायोनी शिष्टमंडल रवाना हो चुका था।
वेटर ने जब दस्तावेज़ को देखा तो उसे ये दस्तावेज़ संवेदनशील और संबंधित लगे, तब उसने अपने एक दोस्त को फ़ोन किया जिसकी मां ज़ायोनी दूतावास में काम करती थी।
वेटर का दोस्त ने वे काग़ज़ात अपनी मां के हवाले किए जिसे उसकी मां ने दूतावास के प्रमुख को सौंपा जिन्होंने बाद में ज़ायोनी शासन को इस घटना की जानकारी दी।
इस घटना के बाद, ज़ायोनी सुरक्षा परिषद के प्रमुख युआव होरोविट्ज़ के आदेश पर इस घटना की जांच हुयी। इस जांच में बल दिया गया कि दस्तावेज़ के खोने के बावजूद इससे इस्राईल के हितों को कोई नुक़सान नहीं पहुंचा।
बिन शाबात के सलाहकार पर संवेदनशील दस्तावेज़ को खोने का इल्ज़ाम लगा और उन्हें चेतावनी दी गयी।
ज़ायोनी शासन ….को विभिन्न प्रकार के सैन्य उपकरण बेचना चाहता है जिसमें स्टेल्थ एयरक्राफ़्ट, ड्रोन विमान, टैंक रोधी मीज़ाईल, गोले और रडार तंत्र शामिल हैं।
इस समय इस्राईल के सैन्य उपकरणों का सबसे बड़ा ख़रीदार देश है और उसने हालिया वर्षों में अवसतन 1 अरब डॉलर मूल्य के सैन्य उपकरण सालाना ख़रीदे हैं।
इस्राईल का दौरा करने वाले पहले मंत्री थे। उन्होंने तेल अविव के बीच 2 अरब डॉलर के सैन्य समझौता होने के कुछ हफ़्ते के भीतर यह दौरा किया था।
पिछले दशक में ……इस्राईल से 10 अरब डॉलर मूल्य के हथियार ख़रीद चुका है।