आखिर कैसे बुझा पायेगा ये हैण्डपम्प प्यास, वह तो खुद ही प्यासा है
फारुख हुसैन
मोहम्मदी खीरी-तहसील क्षेत्र कई ग्राम पंचायतों में लगे सरकारी नलों का कोई पुरसाहाल नहीं है। उमस भरी गर्मी शबाब पर चल रही है। बावजूद इसके महकमे के जिम्मेदार इस गंभीर मसले पर कोई ध्यान नहीं दे रहे।जिससे कम गहराई वाले देशी नल से पानी पीने की मजबूरी बनी हुई।लोगों में भय है कि ऐसा न हो कि इस पानी के सेवन से कोई संक्रामक बीमारी फैल जाये।कंधरापुर बौधीकला पाल अभय कचनार गोकन तेंदुआ कंजा अमरा दिलावरपुर आदि गांवों में सरकारी नलों की बदहाली के चलते लोगों को देशी नल का सहारा लेना पड़ रहा है।
ग्रामीणों का कहना हैकि शिकायत के बाद भी विभाग द्वारा खराबी ठीक कराने के प्रति कोई ध्यान नहीं दिया जाता,जिससे दूषित जल का सेवन करने की मजबूरी है। ग्राम वासियों का कहना है।कि नल लगाते समय लोहे की पाइप घटिया किस्म की डाली जाती है, ऐसे में कुछ ही महीने बाद जंग के चलते पानी का रंग पीला पड़ने से वह पीने योग्य नहीं रह जाता।यदि किसी ने उसका सेवन कर लिया तो रोग होने की संभावना अधिक हो जाती है।मगर विभाग को इसकी कोई परवाह नहीं है। इस गंभीर विषय पर प्रशासन को जिम्मेदारी से कदम उठाने की आवश्यकता।