मुझे यहां से ले जाओ अंकल, मां मुझे बहुत मारती है और पापा खड़े देखते रहते हैं
अब्दुल बासित मलक
यमुनानगर:- मुझे यहां से ले जाओ। मैं यहां नहीं रहना चाहता। मां मुझे डंडों से बहुत मारती है। मैं रोता रहता हूं न पीटने के लिए के लिए मां के पैर पकड़ता हूं। इस पर वह और ज्यादा पीटती है। पापा देखते रहते हैं, पर मां को रोकते नहीं है। मां तो मेरी सौतेली है, पर पापा तो मेरे सगे हैं। अंकल मैं ऐसा क्या किया है।
यह दर्द एक दस साल के बच्चे का है। जो उसने चाइल्ड लाइन की टीम के सामने तब बयां किया जब टीम उसे रेस्क्यू करने पहुंची। बच्चे की दर्द भरी दास्तां सुनकर चाइल्ड लाइन, जिला बाल संरक्षण इकाई, बाल कल्याण समिति के अधिकारियों के भी रोंगटे खड़े हो गए। बच्चे को रेस्क्यू करने तीनों यूनिट पहुंची थी।बच्चे के बारे किसी ने चाइल्ड हेल्प लाइन नंबर पर सूचना दी थी। जिसके बाद तीनों यूनिट ने बच्चे को बिलासपुर के एक गांव से रेस्क्यू किया था। इस संयुक्त कार्रवाई में डॉ. अंजू वाजपेयी, आंचल त्यागी, भानू प्रताप व जानकी प्रसाद शामिल रहे। बच्चे को रेस्क्यू कर बालकुंज भेज दिया गया है।
कॉउंसलिंग के बाद बच्चे ने जो अपनी दस्तां बयां करी है उससे अधिकारियों के भी रोंगटे खड़े हो गए हैं। इस दौरान बच्चा अधिकारियों के लिपट फूट-फूटकर रोने लगा। बच्चे के दिल और दिमाग में सौतेली मां का खौफ बहुत ही ज्यादा बस चुका है। जिससे उभर में बच्चे को वक्त लगेगा। मां खाना नहीं देती, इधर उधर सो जाता हूं
बच्चे ने बताया कि उसकी सगी मां नहीं है। पिता ने दूसरी शादी कर ली। नई मां उसे बिल्कुल भी प्यार नहीं करती। नई मां हमेशा उसे मारती रहती है। मां मुझे रोज पीटती है और खाना भी नहीं देती। दर्द से मैं चिल्लाता रोता रहता हूं। लेकिन मां पीटती रहती है। पापा भी देखते रहते हैं। वह भी मां को नहीं रोकते। मम्मी पापा अंदर नहीं सोने देते। इसलिए मैं इधर उधर ही सो जाता हूं। यह सब सुनकर अधिकारियों के भी होश फाख्ता हो गए।
सभी को था पता, लेकिन नहीं लिया एक्शन
बच्चा थाना बिलासपुर के एक गांव का है। वहीं मां-बाप भी रहते हैं। बच्चों को मार से चिल्लाते सभी गांव वाले सुनते हैं। गांव के पंच, सरपंच व अन्य लोग बच्चे को रोता बिलखता सुन यही कहते थे कि भगवनान ऐसी जिंदगी किसी को न दे। लेकिन गांव के सरपंच व पंचों ने पता होने के बाद भी इस पर कोई कार्रवाई नहीं की। इस दौरान किसी ने टोल फ्री नंबर पर गुप्ता सूचना दी थी। जिसके आधार पर तीनों यूनिट ने बच्चे को रेस्कयू किया।
आज मां बाप यूनिट के सामने होंगे पेश
चाइल्ड लाइन निदेशिका डॉ. अंजू वाजपेयी, को-ऑर्डिनेटर भानू प्रताप ने बताया कि बच्चे की मां कई साल पहले लापता हो गई। बच्चे का पिता पेंटर का काम करता है। कुछ साल पहले उसने दूसरी शादी कर ली। इस शादी से उसे एक और बच्चा हुआ। लेकिन नई मां पहले बच्चे की जरा भी देखभाल नहीं करती। वह उसे हरदम मारती-पीटती रहती है। जिस कारण बच्चा काफी शारीरिक रूप से कमजोर और मानसिक रूप से आहत है। वह सहमा हुआ है। बच्चे को बालकुंज भेज दिया गया है। वहीं उसके मां बाप को शुक्रवार बुलाया गया है। यहां उनकी कॉउंसिलिंग की जाएगी। उसके बाद इस मामले में आगे की कार्रवाई होगी।