नई सड़क दुकानो में चोरी प्रकरण – पुलिस ने किया खुलासा, सफेदपोश जाहिदबाबा के साथ मखंचू ने दिया था वारदात को अंजाम, जाने अनटोल्ड स्टोरी

तारिक आज़मी/ ए जावेद

वाराणसी। लॉक डाउन और चोरी ? सचमुच अचम्भा ही हुआ था वाराणसी की जनता और व्यापारियों को। अब जबकि पुलिस पूरी घटना का खुलासा कर चुकी है और एक सफेदपोश जिसने इस चोरी को अंजाम दिया के साथ एक उसका साथी पुलिस हिरासत में है और पुलिस ने कार्यवाही करके जेल भेज दिया है, फिर भी आम नागरिको के दिलो दिमाग में यह प्रश्न अभी भी है कि सरेराह इतनी सुरक्षा के बावजूद जहा पिकेट सर पर ही बैठी है, आखिर चोरी हो कैसे गई।

इस प्रश्न के उत्तर में क्षेत्राधिकारी प्रीती तिवारी ने कहा कि हमने सुरक्षा और भी मजबूत कर दिया है। घटना के तह तक जाने के लिए सभी पुलिस कर्मी जिनकी उस रात डयूटी थी से नोटिस भेज कर जवाब माँगा गया है। इस जवाबदेही के आधार पर अगर कोई दोषी हुआ तो निःसंदेह कार्यवाही होगी।

बहरहाल, पुलिस के द्वारा दोनों चोरो को पत्रकारों के सामने लाकर पूरी घटना पर से पर्दा उठाया गया। गौरतलब हो कि शुक्रवार की रात नई सड़क लंगड़े हाफ़िज़ मस्जिद के नीचे कपडे और एक सर्राफा की दूकान में चोरो ने ताला काट कर चोरी की घटना प्रकाश में आई थी। इस घटना के बाद पुलिस महकमे में हडकंप मच गया कि लॉक डाउन के समय में इतनी सुरक्षा व्यवस्था के बीच इस प्रकार आखिर चोरी हो कैसे गई। घटना के खुलासे के लिए पुलिस टीम बनाई गई और खुद क्षेत्राधिकारी दशाश्वमेघ प्रीती तिवारी ने इस घटना के खुलासे पर अपनी पैनी नज़र रखी। महज़ 48 घंटे के भीतर ही पुलिस ने मामले का खुलासा कर डाला और शातिराना अंदाज़ में हुई चोरी में दो चोरो को गिरफ्तार कर चोरी के माल और डीवीआर सहित चोरी करने में उपयोग में लाया गया उपकरण भी बरामद कर लिया।

जब इस चोरी का खुलासा हुआ तो स्थानीय लोगो ने भी दांतों तले उंगलिया दबा लिया। चोरो के नाम जानकार लोगो को एक बारगी भरोसा ही नहीं हो रहा था। एक चोर सफ़ेदपोश बाबा तो दूसरा चोर स्थानीय एक फेरी करने वाला लड़का निकला। अभियुक्तों क्रमशः जाहिद बाबा और अबरार अहमद उर्फ़ मखंचू के द्वारा पूरी घटना को कबूल भी कर लिया गया है। इस दौरान उनके पास से माल भी बरामद हुआ।

फर्जी कार्ड रखकर चलता था जाहिद बाबा

जाहिद बाबा के पास तो एक मासिक पत्रिका का फर्जी कार्ड भी बरामद हुआ। जिसकी जानकारी जब पत्रिका के सम्पादक को हुई तो वह भी पेशोपेश में पड़ गए कि आखिर उसके पास कार्ड कैसे मिला। सम्पादक इस अचम्भे में भी है कि जिसको वह न जानते है और न ही पहचानते है उसके पास फर्जी कार्ड बनवा कर दिया किसने। बहरहाल, ये कोई बड़ा मुद्दा नहीं है, लोगो के पास बड़े बड़े संस्थानों से लेकर सरकारी विभाग तक के फर्जी कार्ड बरामद हुवे है। इस सम्बन्ध में क्षेत्राधिकारी ने बताया कि फर्जी कार्ड के बारे में उक्त मैगजीन के सम्पादक से बात हुई तो उन्होंने बताया कि ऐसा कोई कार्ड जारी ही नही हुआ है और वह न ही ऐसे किसी व्यक्ति को जानते है।

कौन है अभियुक्त जाहिद बाबा

मुख्य अभियुक्त के तौर पर देखा जाए तो जाहिद बाबा ही है। जाहिद बाबा का जन्म बेनियाबाग फाटक के एक संभ्रांत परिवार में हुआ है। इसके पिता शहर ही नहीं बल्कि देश के जाने माने फ़ुटबाल खिलाड़ी और कोच थे। सारा जीवन उन्होंने फ़ुटबाल और खुद की खुद्दारी पर ही बिता दिया। समाज में उनकी काफी इज्ज़त थी। उनके सिखाये खिलाडियों ने नेशनल लेवल तक के फ़ुटबाल खेले है। वही जाहिद बाबा का एक भाई नामचीन बिल्डर्स में गिना जाता है। परिवार पूरा सम्मानित है। मगर जाहिद बाबा के कार्य हमेशा से ही संदेह के घेरे में रहा है। घर के पास एक छोटे से कमरे में एक वारसी बाबा का बैनर लगा कर अध्यात्म का कारोबार इसका मुख्य पेशा रहा है।

हर वक्त इस छोटे से कमरे में रोशन चिरागों के बीच चंद संदेहप्रद लोगो का आवागमन होता रहता है। अक्सर ही इस दरबार में काफी दरबारी दिखाई देते है। खुद को ऊँची पकड़ रखने का खुद ही तमगा देने वाला जाहिद बाबा अक्सर चर्चा का केंद्र बना रहता है। इस घटना के बाद क्षेत्र इसके सम्बन्ध में काफी चर्चाये है।

कौन है अबरार उर्फ़ मखंचू

छात्तातले के रहने वाले हाफ़िज़ कुरआन इलियास साहब के लिए तो औलिया के घर में शैतान की कहावत हो रही है। हाफ़िज़ इलियास साहब क्षेत्र के एक सीधे साधे और संभ्रांत नागरिक है। कभी किसी से न बुराई न भलाई। मुल्ला की दौड़ मस्जिद की तरह हाफ़िज़ इलियास साहब नमाज़ पढना और बच्चो को कुरआन की तालीम देने में ही मसरूफ रहते है। उनको क्या पता था कि मखंचू उनकी ज़िन्दगी भर की कमाई उनके नाम पर ही कलंक लगा देगा। आखिर हुआ भी ऐसा। आज जो कलंक परिवार पर लगा है उससे परिवार के लोग भी काफी रुसवा है।

मखंचू का नाम हाफिज इलियास साहब ने बड़े शौक से अबरार रखा था, मगर उम्र बढ़ी और बेटा बड़ा होकर मखंचू बन गया। क्षेत्रीय चर्चा और जानकार सूत्रों के हवाले से मिली खबर के मुताबिक मखंचू को लडकियों से दोस्ती करने का बड़ा शौक है। इस शौक को पूरा करने के लिए वह छोटे मोटे हाथ मार लिया करता होगा। मगर इस बार बड़ी गोटी के चक्कर में पुलिस के हत्थे पड़ गया।

मखंचू के इतिहास पर नज़र डाले तो सराय के एक व्यापारी की सिगरा क्षेत्र में हुई हत्या के समय यह उस व्यापारी के साथ काम करता था। घटना के समय वह व्यापारी के साथ था और गाड़ी लेकर मौके से भाग गया था। गाडी की डिग्गी में काफी नगद और माल भरा हुआ था। मखंचू इसमें से कुछ जुगाड़ किया फिर वापस मृतक की पत्नी को उसके बचे हुवे पैसे और सामन देने पंहुचा ही था कि इसको पुलिस ने धर दबोचा था। मगर पुलिस को इसकी संलिप्तता का कोई सबूत मिला तो आखिर छोड़ना पड़ा। मुख्य अभियुक्तों के गिरफ्तारी के बाद इसको थाने पर से ही छोड़ दिया गया था।

लॉक डाउन में मखंचू घूम कर बेचता था सिगरेट और गुटखा

पुरे लॉक डाउन में ही मख्न्छु ने घूम घूम कर महंगे क्या काफी महंगे दामो में मसाला, गुटखा और अन्य सामान बेचता था। पुलिस की आँखों से छुप कर ये दालमंडी-नई सड़क आदि इलाको में लॉक डाउन के दौरान सिगरेट, पान मसाला तथा गुटखा बेचा करता था। इलाके में कई संभ्रांतो के यहाँ से इसकी अच्छी जान पहचान थी और लोग इसको मजाक का एक हिस्सा बना कर रखते थे।

पोस्टर बाज़ी और सेल्फी का है शौक़ीन

नाम भले इसका मखंचू हो मगर शौक इसके बड़े बड़े रहते है। लडकियों से दोस्ती इसका सबसे पसंदीदा शौक है। इसके खातिर ये खुद को मशहूर करने की गरज से सेल्फी और फोटो का शौक रखने लगा। किसी भी त्यौहार पर सपा नेताओं एक साथ अपनी चमक दमक वाला बैनर ज़रूर लगवा कर लोगो के नज़र में रहना चाहता था। ऐसा ही एक पुराना इसका बैनर हमारी नज़र के सामने आया और इसकी तस्वीर आप देख रहे है। मखंचू अचानक फ़िल्मी हीरो की तरह दिखाई दे रहा है इस बैनर में।

खैर साहब, मामले का पुलिस खुलासा कर चुकी है। क्षेत्र में चर्चाओं का बाज़ार गर्म है। लोग अब हर एक नए लोगो को देख कर शक के नज़र से उनको देख रहे है। वही क्षेत्र के दुकानदार अब अपनी अपनी दुकानों के ताले भी चेक कर रहे है। हमने आपसे अनटोल्ड स्टोरी का वायदा किया था तो हमने इसका प्रयास किया। हां अगर एक लाइन छुट रही है तो वह ये है कि कल देर रात तक जाहिद बाबा के चाहने वाले कुछ लोग मामले को रफा दफा करवाना चाहते थे। मगर पुलिस की ईमानदारी के आगे उनकी एक न गली। वही पुरे खुलासे की सुरागगशी में सबसे अधिक मेहनत करने वाले दो कांस्टेबल अतहर अली और विनय सिंह की भूमिका सराहनीय रही। इसके अतिरिक्त इमानदार पुलिसिंग की मिसाल क्षेत्राधिकारी प्रीती तिवारी के द्वारा प्रस्तुत कर दिया गया। साथ ही थाना प्रभारी सिद्धार्थ मिश्रा ने केस में हर पल नज़र बनाये रखी।

बकिया रनिंग न्यूज़ आप पहले पढ़ ही चुके होंगे कि पुलिस ने दोनों को मु0अ0सं0 33/2020 धारा 457/380 भा0द0वि0 के तहत दोनों को बुक करके अदालत में पेश कर दिया है जहा से न्यायिक हिरासत में दोनों को भेजा जा चूका है। गिरफ्तार करने वाली पुलिस टीम में उ0नि0 मुरलीधर, रमेश यादव, स्वतन्त्र सिंह, मु0आ0 गौरीशंकर शर्मा, का0 विनय सिंह, शैलेन्द्र कुमार यादव, अली अतहर की भूमिका सराहनीय रही। सभी एक नाम प्रशस्ति पत्र हेतु क्षेत्राधिकारी द्वारा प्रस्तावित किये गए है।

पुलिस को जाहिद बाबा और मखंचू के पास से 10 अदद चांदी के सिक्के, 04 अदद ताबीज व दो अदद डीवीआर मय एक अदद पावर सप्लाई बाक्स मय पावर केविल तथा चोरी करने के उपकरण एक अदद गैस सिलिण्डर छोटा, एक अदद गैस पाइप मय रेगुलेटर, गैस कटर, एक अदद लोहा काटने का ब्लेड, एक अदद आरी व एक अदद पेचकश बरामद हुआ है। गिरफ़्तारी के समय ये दोनों नई सड़क कुड़ेघर के पास चोरी के माल छुपाने अथवा बेचने की नियत से जा रहे थे।

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